शाहुपरा रोडवेज डिपो के परिचालक प्रकाश जाट ने बताया कि कि दो दिन पहले खण्डेला निवासी अब्दुल अजीज के बेटी मोमीना खान सीकर से चुरू जा रही थी। यहां सीकर बस स्टैण्ड पर मोमीन खान ने चुरू की बस के बजाय गलती से शाहपुरा डिपो की सालासर जाने वाली बस में अपना बैग व अन्य सामान रख दिया और कुछ सामान लेने नीचे उतर गई। चालक-परिचालक को जानकारी नहीं होने पर यहां से बस सालासर के लिए रवाना हो गई।
सालासर से गाडी वापस शाहपुरा पहुंची तो सभी सवारियों के नीचे उतरने पर बस की सीट पर एक बैग रखा था। परिचालक प्रकाश जाट ने न बैग की तलाशी ली तो उसमें 52 हजार रुपए नकद और कुछ आभूषण रखे थे। इस पर परिचालक प्रकाश ने मुख्य प्रबंधक व साथी परिचालक सुरेश यादव को इसकी जानकारी दी।
दूसरे दिन मंगलवार को बस फिर से सालसर जाने के लिए सीकर पहुंची तो वहां सीकर डिपो में कुछ यात्री एक दिन पहले बस में छूटे बैग के बारे में पूछताछ कर रहे थे। इस पर शाहपुरा डिपो के परिचालक ने बैग शाहपुरा की बस में मिलने और उसमें रखे रुपए व गहने सुरक्षित होने की जानकारी दी। जिस पर यात्री मोमीना, उसके पिता अब्दुल व परिजन कादिर ने राहत की सांस ली। बाद में परिचालक प्रकाश ने यात्री व उसके परिजनों को बुधवार को शाहपुरा डिपो में बुलाकर प्रबंधक की मौजूदगी मेंं उनका बैग, 52 हजार रुपए और आभूषण सुपुर्द कर ईमानदारी का परिचय दिया।
इस पर यात्रियों ने रोडवेज कर्मचारियों की ईमानदारी की सराहना की। इससे पहले शाहपुरा डिपो के ही साईवाड़ रूट पर संचालित होने वाली रोडवेज बस के परिचालक ने भी यात्री के बस में छूटे महंगे मोबाइल को लौटाया था।