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भरतपुर

विधायक ने खड़े होकर कराई सड़कों की जांच, नमूने रखवा दिए एसडीएम ऑफिस में

नदबई क्षेत्र के लोग लम्बे समय से क्षतिग्रस्त सड़क और यहां रेलवे फाटक पर लगने वाले जाम की मार झेलते आ रहे थे। लेकिन क्षेत्रीय विधायक जोगिन्दर सिंह अवाना के प्रयासों से सड़कों में सुधार आया, जिससे लोगों को राहत मिली। लेकिन गत दिनों सड़क निर्माण के कार्यों के लेकर हुई शिकायतों के बाद विधायक ने स्वयं मौके पर मौजूद होकर सैम्पल उठवाए।

भरतपुरJan 17, 2022 / 09:22 pm

rohit sharma

विधायक ने खड़े होकर कराई सड़कों की जांच, नमूने रखवा दिए एसडीएम ऑफिस में

विधायक ने खड़े होकर कराई सड़कों की जांच, नमूने रखवा दिए एसडीएम ऑफिस में

भरतपुर. नदबई क्षेत्र के लोग लम्बे समय से क्षतिग्रस्त सड़क और यहां रेलवे फाटक पर लगने वाले जाम की मार झेलते आ रहे थे। लेकिन क्षेत्रीय विधायक जोगिन्दर सिंह अवाना के प्रयासों से सड़कों में सुधार आया, जिससे लोगों को राहत मिली। लेकिन गत दिनों सड़क निर्माण के कार्यों के लेकर हुई शिकायतों के बाद विधायक ने स्वयं मौके पर मौजूद होकर सैम्पल उठवाए। सूत्रों के अनुसार जो सैम्पल लिए थे, उन्हें बाद टीम नें स्थानीय एसडीएम कार्यालय में रखवा दिया गया था। जबकि नमूने विभाग की लैब में जाना चाहिए था। गत २३ दिसम्बर को नमूना लिया गया था लेकिन अभी तक इस नमूने को लेकर कोई रिपोर्ट बाहर नहीं आई है। जिससे कार्रवाई को लेकर असमंजस बना हुआ है। क्षेत्र में हलैना से नदबई, डहरा से नदबई, नदबई से नगर तथा नदबई से खेडली रोड के साथ ही ओवरब्रिज तथा बाइपास निर्माण को प्राथमिकता से लिया गया। लेकिन सरकार द्वारा स्वीकृत सड़कों में से कुछ सड़कों पर संबंधित फर्मो द्वारा किया गया कार्य कुछ समय से संदेह के घेरे में दिखाई दे रहा है।

एक फर्म के कार्यों की जांच

पूर्ववर्ती भाजपा सरकार की ओर से करीब इक्कीस सौ करोड रुपए के सड़क निर्माण के लिए स्वीकृति प्रदान की गई थी। उसमें से ही हलैना से नदबई व नदबई से नगर तक लगभग 14 किलोमीटर की सड़क निर्माण के लिए फर्म सिंघल बिल्डर्स को करीब 7 करोड़ का कार्य स्वीकृत किया गया। इसी प्रकार बाइपास की 8 किलोमीटर क्षेत्र व अन्य संपर्क सड़कों की 7 किलोमीटर सड़क के लिए कुल 29 करोड की बजट स्वीकृति फौजदार कंस्ट्रक्शन के कार्य के लिए स्वीकृत की गई थी। साथ ही आरओबी के लगभग 9 सौ मीटर लंबाई के कार्य के लिए पीआरएल एंड ज्योति बिल्डर्स जेवी को लगभग 26 करोड़ रुपए का वर्क आर्डर जारी किया गया। जिनमें से आरओबी सहित बाइपास का कार्य शामिल है।

मौके पर करवाया क्वालिटी टेस्ट


नवनिर्मित सड़कों का गत दिनों क्षेत्रीय विधायक अवाना ने पीडब्ल्यूडी के अधिकारियों की देखरेख में क्वालिटी टेस्ट करवाया। जिससे ठेकेदार समेत महकमे के अधिकारियों में हड़कंप मच गया। हालांकि, सार्वजनिक निर्माण विभाग के नियम के अनुरूप नवनिर्मित सड़क का क्वालिटी टेस्ट होने के पश्चात ही भुगतान किया जाता है। वहीं, निश्चित समय पर विभाग द्वारा निर्मित सड़क का क्वालिटी टेस्ट भी संबंधित विभाग के अधिकारियों की देखरेख में कराया जाता है। लेकिन बावजूद फर्म सिंघल बिल्डर्स द्वारा क्षेत्र में बनाई सड़कों का कोर कटिंग मशीन द्वारा क्वालिटी टेस्ट संबंधित विभागीय अधिकारियों की मौजूदगी में विगत 23 दिसंबर को कराया गया था। लेकिन 25 दिन गुजर जाने के बाद भी अभी तक उसकी रिपोर्ट नहीं पाई है। लेकिन इस रिपोर्ट को लेकर उच्चाधिकारी चुप्पी साधे हुए हैं। गौरतलब रहे कि गत 28 दिसंबर को भी पत्रिका ने आरोपों के घेरे में करोड़ों के काम, निशाने पर फर्म शीर्षक से समाचार प्रकाशित किया था

जगह-जगह से लिए थे नमूने, लेकिन नहीं आई रिपोर्ट

नदबई क्षेत्र में तीन ठेकेदारों द्वारा कार्य किया गया। जिनमें से सिंघल बिल्डर्स के क्षेत्र की करीब 14 किलोमीटर सड़क का निर्माण किया है। वहीं फौजदार कंस्ट्रक्शन कंपनी द्वारा बाइपास रोड से करीली तक तथा कस्बा क्षेत्र के कुम्हेर रोड पर 11 सौ मीटर के टुकड़े सहित कस्बा संपर्क क्षेत्र के सड़क निर्माण सहित कुल 15 किलोमीटर सड़क का निर्माण किया है पीआरएल एंड ज्योति बिल्डर्स जेबी को आरओबी के लगभग 26 करोड का वर्क आर्डर जारी किया गया था ।लेकिन सड़क निर्माण में संबंधित फर्मों द्वारा कोताही बरतने की शिकायतों के उपरांत विधायक की शिकायत पर सड़कों का क्वालिटी टेस्ट कराया गया। गत दिनों सिंघल बिल्डर्स के कार्यों का क्वालिटी टेस्ट हुआ। जबकि सितंबर 21 में जयपुर से आई टीम ने क्वालिटी टेस्ट कर कार्य को सही बताया। लेकिन कस्बा क्षेत्र सहित बाईपास से करीली तथा अन्य स्थानों पर 29 करोड़ रुपए की लागत से कार्य करने वाले फौजदार कंस्ट्रक्शन सहित निर्माणाधीन आरओबी पर कार्य करने वाले पीआरएल एंड ज्योति बिल्डर्स जेबी फर्म के कार्य इस जांच के दायरे में आने से बच गए। जबकि इनके कार्यों पर पहले भी सवाल खड़े हो चुके हैं।
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