पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार महाराष्ट्र के जलगांव निवासी 31 वर्षीय गन सिंह पिता वंश सिंह मोहला में आईटीबीपी के वाहन शाखा में पदस्थ था। गन सिंग सोमवार रात को ही आईटीबीपी के हेडक्वाटर कर्नाटक से लौटा था। बताया जा रहा है कि जवान मंगलवार को वाहन से सामान खाली कर रहा था।
इस दौरान जवान गन सिंह मोबाइल पर किसी से लंबा समय तक बात कर रहा था और अचनाक गोली चलने की आवाज आई। आस-पास मौजूद जवानों ने वाहन में आ कर देखे तो गन सिंह खून से लथपथ वाहन के अंदर ही पड़ा हुआ था और उसका सर्विस रायफल (इंसास) मौके पर पड़ा था। उसके साथी कुछ कर पाते इससे पहले गन सिंह ने दम तोड़ दिया था। बताया जा रहा है कि मृतक जवान 2009 बैच का सिपाही है। पुलिस मृतक जवान के परिजनों को सूचना देकर उसके शव को पोस्ट मार्टम के लिए जिला मुख्यालय में लाया है।
माओवादी क्षेत्र में ड्यूटी में तैनात जवानों की खुद की सर्विस रिवाल्वर से खुदकुशी का यह पहला मामला नहीं है। पुलिस के जवान लंबी ड्यूटी और छुट्टी नहीं मिलने के चलते मानसिक रूप से परेशान रहते हैं और इसी परेशानी में वे आत्मघाती कदम उठा लेते हंै। पुलिस विभाग को ड्यूटी में तैनात जवानों को मानसिक बल देने के लिए मोटिवेशनल कैम्प लगाने चाहिए लेकिन इस दिशा में ध्यान नहीं दिया जाता।