दुबे का कहना है कि केलकर के खिलाफ 2015 में भी मिलावटखोरी का मामला दर्ज किया गया था, जिसमें 30 जुलाई 2016 को एडीजे कोर्ट उज्जैन ने इस आरोपी को खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम में दोषी पाया था। दुबे ने सवाल उठाया कि क्या प्रदेश के भाजपा नेताओं ने केंद्रीय गृह मंत्री को अंधेरे में रखकर रासुका हटवाया।
दुबे ने आरोप लगाया केलकर कृष्णा ब्रांड का घी बनाता है। 30 जुलाई 2019 को उज्जैन प्रशासन ने नकली घी बनाते हुए घातक रसायनों के साथ पकड़ा।आरोपी अपने परिसर में नकली घी का निर्माण कर रहा था। सेम्पल को जांच के लिए लैब भेज दिया जिसमें वो अवमानक स्तर का पाया गया। प्रशासन ने रासुका के तहत कार्रवाई की।
आरोपी इसके खिलाफ हाईकोर्ट गया लेकिन हाईकोर्ट ने उसे कोई राहत नहीं दी। लेकिन केंद्र सरकार ने रासुका की कार्रवाई निरस्त कर दी। जल्द ही सरकार मिलावट करने वालों के खिलाफ आजीवन कारावास का कानून बनाने जा रही है।
वहीं शोभा ओझा ने कहा कि पिछले 15 साल से प्रदेश में माफिया राज चल रहा था। सरकार,अधिकारी और माफिया का ऐसा कॉकस बना था जो प्रदेश को जहर खिला रहा था। जब से प्रदेश में कमलनाथ सरकार बनी है तब से इस पूरे कॉकस को खत्म किया गया है। अब मिलावट करने वालों को जेल भेजा रहा है। उन पर सख्त से सख्त कार्रवाई की जा रही है।