श्योपुर और मुरैना में फैले कूनो पालपुर नेशनल पार्क आने वाले 8 में चार नर और चार मादा चीते हैं। भारतीय वन्य जीव प्रबंध संस्थान देहरादून के डीन वायवी झाला का कहना है, चीता लाने के प्रस्ताव दोनों देशों में विधि परीक्षण के लिए भेजा है। नामीबिया से कूनो नेशनल पार्क में आठ चीते 15 अगस्त से पहले आएंगे। हेलिकॉप्टर से चीते यहां लाए जाएंगे। इसके लिए यहां पर 9 बाड़े तैयार किए गए हैं। पार्क में इनके शिकार के लिए चीतल रखने की व्यवस्थाएं पूरी कर ली गई हैं।
तेंदुए निकालना बाकी
बाड़े में तीन तेंदुए हैं, इन्हें वहां से निकाला जाना है। दरअसल, तेंदुए अगर बाड़े में रहेंगे तो चीते पर हमला कर सकते हैं। इससे इन्हें वहां से हटाना जरूरी है।
ग्रीन पर्दा भी लगेगा
बाड़े में ग्रीन पर्दा भी लगेगा, ताकि चीता बाहर किसी शाकाहारी वन्य जीव को न देख सके। वैज्ञानिकों का मानना है कि अगर यह देखेगा तो उनके शिकार के लिए तेजी से दौड़ेगा और बाड़े के लोहे की जाली से टकराकर घायल हो जाएगा।
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चीतों को टीके की दूसरी खुराक आज
बीमारियों से बचाने के लिए चीतों को टीके की पहली खुराक दी चुकी है। शनिवार को दूसरी खुराक देंगे। बीमारियों की जांच के लिए चीतों का रक्त परीक्षण होगा। उन्हें शनिवार को ही कॉलर लगाया जाएगा।