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भोपाल

सप्लाई का पानी नहीं पी रहे निगम अफसर, 8 लाख का पैक्ड वॉटर खरीदा

निगम अफसर बैठकों, कार्यक्रमों में उपयोग के लिए खरीद रहे पानी

भोपालDec 26, 2023 / 05:53 pm

Bhalendra Malhotra

सप्लाई का पानी नहीं पी रहे निगम अफसर, 8 लाख का पैक्ड वॉटर खरीदा

सप्लाई का पानी नहीं पी रहे निगम अफसर, 8 लाख का पैक्ड वॉटर खरीदा

भोपाल. पूरे शहर को पानी पिलाने वाले निगम के अफसर खुद निगम की सप्लाई लाइन का पानी नहीं पीते। ऐसा हम इसलिए कह रहे हैं क्योंकि निगम ने अपनी अंदरूनी बैठकों, कार्यक्रमों में बाहरी एजेंसी से पानी खरीदी की प्रक्रिया शुरू की है। एक साल के लिए आठ लाख रुपए में पानी खरीदा जा रहा है। निगम में ङ्क्षसगल यूज्ड प्लास्टिक बंद होने से पानी के 20 लीटर के जार का पानी सप्लाई करने का ठेका दिया जा रहा है। बाहर से पीने के पानी की इस प्रक्रिया ने सवाल खड़े किए हैं कि आखिर केरवा, कोलार, नर्मदा या बड़ा तालाब का फिल्टर किया पानी निगम में उपयोग क्यों नहीं होता।
672 बैठकें सालभर में, यहीं करते हैं उपयोग
नगर निगम अपनी दैनिक बैठकों के साथ महापौर परिषद, नगर निगम परिषद व सिविल सोसायटी के साथ बीते एक साल में 672 बैठकें कर चुका है। हर दो माह में परिषद की बैठक होती है, जबकि माह में एक बार एमआइसी होती है। निगम की अंदरूनी समीक्षा के तहत औसतन दो बैठकें रोज होती हैं। इनमें ही ये खरीदी किया पानी उपयोग होगा। शुरुआत में निगम ने 7.81 लाख रुपए का काम देने की प्रक्रिया शुरू की है।
रोजाना 32 करोड़ लीटर पानी आपूर्ति करता है निगम
नगर निगम अपने चार जलस्त्रोतों से शहर की 23 लाख आबादी को 32 करोड़ लीटर पानी रोजाना आपूर्ति करता है। कोलार में केरवा से जलापूर्ति शुरू होने के बाद निगम शहर के 90 फीसदी हिस्से में अब नल से जलापूर्ति करता है। हालांकि ङ्क्षसगल नल कनेक्शन नहीं दिए जाने से करीब 1000 कॉलोनियों में निगम बल्क कनेक्शन के तहत वहां के संपवेल में पानी देता है जहां से खुद कॉलोनी अपने संसाधनों से हर घर तक पानी पहुंचाती है। बाकी में निगम खुद के संसाधनों से जलापूर्ति करता है।
निगम को करना तो ये चाहिए
एक्टिविस्ट कमल राठी का कहना है कि निगम अपने फिल्टर प्लांट से पानी शुद्ध करता है और रोजाना करीब आठ से दस जगह सप्लाई लाइन से नमूने लेकर टेस्ट करता है। निगम की रिपोर्ट में पानी शुद्ध यानि पीने योग्य है। ऐसे में निगम को अपने मुख्यालय भवनों जिनमें आइएसबीटी, माता मंदिर समेत जोनल व वार्ड कार्यालयों पर नल का कनेक्शन लेना चाहिए। निगम कार्यालयों में कर्मचारियों से अफसरों तक को यहीं से पानी लेकर पिलाना चाहिए।
निगम में बैठकें लगातार होती हैं। पानी की जरूरत तो लगती है। हम इसे दिखवाएंगे कि पानी की व्यवस्था के लिए क्या किया जा रहा है। जो उचित होगा, वह करेंगे।
– मालती राय, महापौर

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