इन गतिविधियों पर होता है पूरी तरह से प्रतिबंध
– सार्वजनिक उद्घाटन और शिलान्यास पर प्रतिबंध रहता है।
– किसी भी नए काम या योजना स्वीकृति पर मनाही होती है।
– सरकार अपनी उपलब्धियों के होर्डिंग्स नहीं लगा सकती।
– ग्रामीणो के पास के हथियारों को जप्त कर लिया जाता है।
– सरकारी वाहनों से सायरन निकाल दिए जाते हैं।
– सरकारी भवनों में पीएम, सीएम, मंत्री, राजनीतिक व्यक्तियों की तस्वीरों पर मनाही होती है।
– सरकार अपनी उपलब्धियों के विज्ञापन मीडिया में नहीं दे सकती।
– रिश्वत लेना या देना भी अपराध माना जाता है।
– सोशल मीडिया पर कोई भी उन्मादी पोस्ट आपके लिए घातक साबित हो सकती है। आचार संहिता के नियमों के ध्यान में रखते हुए ही सोशल मीडिया पर किसी के बारे में लिखें या पोस्ट करें।
आम आदमी पर भी लागू होती है आचार संहिता
आचार संहिता का उल्लंघन आम आदमी के लिए भी उतना ही घातक होता है जितना उम्मीदवार, सियासी दल या नेता केलिए घातक साबित होता है। आचार संहिता वाले क्षेत्रों में कोई भी सियासी दल या उम्मीदवार से संबंधित कोई भी आपत्तिजनक गतिविधि जैसे पैसे लेना, शराब लेना या किसी भी प्रकार की खाद्य सामग्री लेना आपको पुलिस हिरासत में भेज सकती है।
जाति, धर्म और भाषा पर टिप्प्णी करना पड़ेगा भारी
कोइ भी दल या उम्मीदवार ऐसी किसी भी गतिविधि में शामिल नहीं हो सकते, जिससे जातियों और धार्मिक या भाषायी समुदायों के बीच हिंसा भड़के या पहले से मौजूद मतभेद और भी अधिक गंभीर हो जाए। इस तरह की नफरत फैलाने वाली या तनाव पैदा करने वाली गतिविधियों में दंडात्मक कार्रवाई हो सकती है।