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भोपाल

300 से अधिक कॉलोनियों में कीचड़ और गड्ढों से चलना भी हुआ मुश्किल

30 से अधिक मुख्यमार्ग से गुजरना नहीं आसान, लोग हो रहे घायल

भोपालAug 01, 2021 / 01:10 am

Sumeet Pandey

300 से अधिक कॉलोनियों में कीचड़ और गड्ढों से चलना भी हुआ मुश्किल

300 से अधिक कॉलोनियों में कीचड़ और गड्ढों से चलना भी हुआ मुश्किल

भोपाल. शहर की उखड़ी, टूटी, खुदी व खराब सड़कें बारिश के पानी में कीचड़ में बदल गई। लगातार हो रही रिमझित बारिश से 300 से अधिक कॉलोनियों के लोग दिक्कत में आ गए हैं। इनमें 60 फीसदी कॉलोनियां कोलार में है। बाकी नेहरू नगर, भदभदा क्षेत्र, करोंद, बैरागढ़, पुराने शहर, गोविंदपुरा व कटारा हिल्स से जुड़ी हुई कॉलोनियां है। यहां बीते एक साल के दौरान सड़क खुदाई से लेकर नाली निर्माण के काम हुए हैं। यहां काम करने के बाद सड़क दुरूस्त नहीं की गई, जिससे अब रिमझिम बारिश में यहां सड़क से बाहर पड़ी धूल- मिट्टी कीचड़ में बदल गई। कुछ सड़कों पर तो बड़े गड्ढे हो गए। कुछ सड़कों पर कीचड़ फिसलन की बड़ी वजह बन गया। लोगों को बेहद संभलकर जाना पड़ रहा है। यहां थोड़ी से लापरवाही दुर्घटना का कारण बन रही है।
दो साल से दावों में ही सड़क सुधार
कई क्षेत्र ऐसे हैं जहां दो साल से सड़कें खोदी हुई हैं। निर्देश के बावजूद ठेका एजेंसी दुरूस्त नहीं कर रही। बारिश के बाद हर बार यहां कीचड़ और इससे लोगों को परेशानी की स्थिति बनती है। कोलार की राजहर्ष कॉलोनी, प्रियंका नगर, ललिता नगर, नम्रता नगर, सनखेड़ी रोड, वंदना नगर से लेकर मिसरोद, बावडिय़ा, गुलमोहर से जुड़ी कॉलोनियां है। शाहपुरा में तो निगमायुक्त बीते दो माह में तीन बार निरीक्षण कर खुदी सड़कों को दुरूस्त करने का कह चुके, लेकिन ऐसा नहीं हो पा रहा है।
ये हैं जिम्मेदार
सड़कें दुरूस्त रहे इसके लिए निर्माण एजेंसी की सिविल शाखा जिम्मेदार है। शहर के अंदरूनी गलियों, मोहल्लों की सड़कों मे कीचड़ की स्थित अधिक है। इसके लिए संबंधित जोन के कार्यपालन यंत्री- डिप्टी सिटी इंजीनियर, सहायक यंत्री सिविल जिम्मेदार है। कोलार में प्रमोद मालवीय के पास यहां का जिम्मा है और यहीं पर सड़कें सबसे खराब है। इसी तरह खराब स्थिति करोद क्षेत्र जोन 17 में है। यहां नंदकिशोर डेहरिया के पास जिम्मा है।
खराबी की वजह
सड़कों की खराब पर इंजीनियर्स ध्यान नहीं दे रहे, इसकी बड़ी वजह इंजीनियर्स मे तालमेल नहीं होना है। यहां पर जोन के उपयंत्री, सहायक यंत्री के साथ ही डिप्टी सिटी व कार्यपालन यंत्री तक एक दूसरे का विरोध करते हुए एक दूसरे के खिलाफ रहते हैं। बीते एक साल में निगम में चार मामले इस तरह के आ गए।
सड़कों को दुरूस्त करने के लिए कहा गया है। लाइन के लिए खुदाई भी जरूरी है, लेकिन तत्काल रेस्टोरेशन का कहा है। खराब सड़कों को जल्द ही ठीक कराएंगे।
केवीएस चौधरी, निगमायुक्त

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