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भुवनेश्वर

ओडिशा:थमी बारिश पर नदियां बह रही खतरें के निशान के ऊपर,सीएम ने मांगी बारिश से हुए नुकसान की रिपोर्ट

मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने दस जिलों के कलक्टरों से बारिश और बाढ़ के कारण हुई जनधन की क्षति ब्यौरा मांगा है…

भुवनेश्वरJul 24, 2018 / 05:22 pm

Prateek

naveen patnaiak

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(पत्रिका ब्यूरो,भुवनेश्वर): ओडिशा में बारिश थम गई है। हालांकि उफनाती नदिया खतरें के निशान के करीब हैं पर अधिकारियों का दावा है कि बाढ़ की आशंका क्षीण है। छत्तीसगढ़ के कलमा बैराज के गेट खोलने से हीराकुद बांध में भारी मात्रा में पानी एकत्र हो गया है। जल नियंत्रण कक्ष से मिली जानकारी के अनुसार पूजा परंपरा के बाद हीराकुद बांध के आठ गेट खोल दिए गए हैं। चीफ इंजीनियर ज्योतिर्मय रथ का कहना है कि 15 गेट देर शाम तक खोल दिए जाएंगे। संख्या अधिक भी हो सकती है।


मास्टर कंट्रोल स्टेशन बुर्ला से प्राप्त जानकारी के अनुसार हीराकुद बांध की अपरान्ह 3 बजे तक की स्थिति के अनुसार बांध के रिजर्वायर में 618.17 फुट पानी भर गया है। लिमिट 617 फुट पानी की है। बीते तीन घंटे से हीराकुद में 1,34,859 क्यूसेक पानी आ रहा है। रिजर्वायर में वर्तमान आउट फ्लो 1,36,343 क्यूसेक है। बायीं ओर के पांच तथा दायीं ओर तीन गेट खोले जा चुके हैं। इसके अलावा मुंडली बांध से 4,98,344 क्यूसेक पानी, 3,26,644 क्यूसेक पानी नराज बांध, 2,52,000 क्यूसेक बारमुल तथा 1,74,000 क्यूसेक खैरमल से महानदी में छोड़ा जा रहा है। जलस्तर बढ़ता जा रहा है। मौसम विभाग ने चार जिलों के लिए अलर्ट जारी किया है।


संबलपुर कलक्टर समर्थ वर्मा का कहना है कि हीराकुद बांध के चरणबद्ध ढंग से कुल 15 गेट आज खोले जाएंगे। यह भी बताया गया कि हीराकुद की भंडारण क्षमता 630 फुट है और 617 फुट पर पानी आते ही तैयारियां तेज हो जाती हैं। महानदी में गेट खोलकर पानी छोड़ा जाने लगता है। आगे दो-तीन दिन में तेज बारिश बाढ़ से तबाही का कारण बन सकती है। अभी 12 फुट तक पानी स्टोरेज किया जा सकता है। इसके बाद तबाही का मंजर आ सकता है। अभी तो कुल 618 फुट से ऊपर है। जिलाधिकारी ने बताया कि निचले क्षेत्रों में रहने वालों से अलर्ट को कहा गया है। ओडिशा राहत आयुक्त विष्णुपद सेठी ने बताया कि बाढ़ की स्थिति फिलहाल नहीं है। महानदी और वैतरणी का पानी खतरे के निशान से धीरे-धीरे नीचे जा रहा है। बीते 24 घंटों से बादल शांत हैं। तटवर्ती इलाकों में रहने वाले 12 हजार परिवार को राहत शिविरों में भेजा जा चुका है। बाढ़ से मरने वाले परिवार को 4 लाख मुआवजा दिया जा रहा है। घर गिरने पर एक लाख रुपया सरकार दे रही है।

 

प्रभावित क्षेत्र

बाढ़ से 13 जिलों के 62 ब्लाक और नौ नगर पालिका क्षेत्रों में बाढ़ का पानी घुस चुका है। इसके अलावा 1082 गांवों के 3.16 बाढ़ से प्रभावित हुए हैं। ओड्राफ (ओडिशा डिजास्टर रैपिड एक्शन फोर्स) और एनडीआरएफ की क्रमशः 12 व 5 टीमें सक्रिय हैं।


नवीन पटनायक ने क्षति का ब्यौरा मांगा

मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने दस जिलों के कलक्टरों से बारिश और बाढ़ के कारण हुई जनधन की क्षति ब्यौरा मांगा है। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि 24 घंटे अलर्ट रहें। जनता को किसी भी तरह की तकलीफ न होने दें। उन्होंने कहा कि क्षतिपूर्ति 24 घंटे के भीतर होनी चाहिए। संबलपुर की मीटिंग में उनके साथ जिला कलक्टरों के साथ ही क्षेत्रीय विकास आयुक्त डा.वी.स्वामी भी थे।

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