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बीकानेर

चुनावी पोस्टरों से निकलकर आयुर्वेदिक दवाइयों के पैकेट पर दिख रहे देवी सिंह भाटी

आयुर्वेद के जरिए कर रहे समाज सेवा, मुरलीधर व्यास कॉलोनी में खोली फार्मेसी…

बीकानेरApr 07, 2018 / 09:05 am

अनुश्री जोशी

Devi Singh Bhati
चुनावी रैलियों और राजनीति आयोजनों के पोस्टरों और बैनरों में अक्सर आपने पूर्व मंत्री देवीसिंह भाटी का फोटो देखा होगा, लेकिन अब यदि उनकी फोटो किसी दवाई के डिब्बे पर भी देखें तो चौंकिए नहीं। भाटी ब्रांड की दवाइयां अब बाजार में है। भाटी ने इसके लिए बाकायदा फार्मेसी का रजिस्ट्रेशन करवा कर आयुर्वेदिक औषाधियों का उत्पादन शुरू किया हैं।
इसके लिए उन्होंने मुरलीधर व्यास कॉलोनी में एक फार्मेसी खोली है। इस फार्मेसी में योग्यता प्राप्त आयुर्वेदाचार्य के निर्देशन में करीब डेढ़ दर्जन औषधियों का निर्माण किया जा रहा है। खास बात यह है कि इनमें से १४ दवाइयों को पेटेन्ट के लिए भेजा हुआ है। भाटी की फार्मेसी में सामान्य दवाइयों के अलावा कैन्सर और एड्स जैसी बीमारियों के उपचार के लिए भी दवाइयां तैयार कर मरीजों को बेहद किफायती दरों पर दी जा रही हैं।
मधुमेह, माइग्रेन, नेत्र सम्बन्धित बीमारियों के लिए भी फार्मेसी में दवाइयां बनाई जा रही है। फार्मेसी के प्रभारी वैद्य शिवशंकर स्वामी ने स्वीकार किया कि भाटी खुद डाक्टर या वैद्य नहीं हैं, लेकिन आयुर्वेद में उनकी रुचि के कारण उन्होंने देश के कई जाने-माने वैद्यों से विचार-विमर्श कर कई बीमारियों की रामबाण औषधियां तैयार करवाई हैं। इनका उत्पादन इस फार्मेसी में किया जा रहा है।
चली गई थी आंखों की ज्योति
गिर्राजसर के बुजुर्ग तुलसीदास साध की शुगर से आंख की ज्योति चली गई। उनके भतीजे मूलचन्द ने बताया कि दवा लेने से अब दिखाई देने लगा है। जोधपुर की राज कंवर ने बताया कि उनका लीवर वर्षों से खराब था। भाटी की सलाह पर दवा लेने से अब वे स्वस्थ्य हैं। जोधपुर के शेर सिंह ने आंखों में पानी गिरने की दवा ली और अब आंखें ठीक हैं। सियाणा के जीतू सिंह की भी आंखों की बीमारी की दवा चल रही है, उनका कहना है कि 25 प्रतिशत सुधार है।
चौथी स्टेज में कैंसर
गजनेर के वृद्ध हजारी राम को रिपोर्ट में प्रोस्टेट का चौथी स्टेज में कैंसर बताया गया, जो ‘कृष्णवेली’ दवा लेने से ठीक हो गया। यह बात रोगी एवं परिजन कह रहे हैं। रोगी स्वस्थ है। अंगणेऊ और भाणेका गांव में एचआईवी पॉजिटिव रोगियों के परिजनों का कहना है कि दवा लेने के बाद रोगियों का वजन बढ़ा एवं ठीक महसूस कर रहे हैं। इसमें से अंगणेऊ की एक महिला ३५ वर्ष की तथा भाणेका गांव के पति-पत्नी 30-32 वर्ष के हैं।
सर्जरी नहीं करवाई, ‘कृष्णवेली’ दवा ली
भाटी की सलाह पर इलाज ले रहे दर्जनभर लोगों को उनके रोग की स्थिति के बारे में पूछा गया। पलाना गांव के मघाराम ने बताया कि उसे जीभ का कैंसर था। इसकी जांच मुम्बई की लैब में करवाई। वहां कैंसर बताया तो विश्वास नहीं हुआ। जयपुर के महावीर कैंसर अस्पताल में फिर जांच करवाई। वहां भी कैंसर बताया गया। कुछ दिन भर्ती रहे तो डाक्टर ने जीभ की सर्जरी करवाने की सलाह दी। सर्जरी नहीं करवाकर वे पलाना आ गए। इसकी जानकारी भाटी को दी तो उन्होंने गुजरात जाकर ‘कृष्णवेली’ दवा लाने की सलाह दी। तीन माह यह दवा ली अब वह ठीक है।
आयुर्वेद इलाज से लोग हो रहे ठीक
मैंने जिले के गांवों तथा जोधपुर-जैसलमेर के लोगों, मित्रों और परिजनों को इलाज के घरेलू नुस्खे और आयुर्वेदिक दवाएं लेने की सलाह दी। इस सलाह से दवाएं लेने वाले लोगों को लाभ हुआ है। इसमें कैंसर, एचआईवी पॉजिटिव (एड्स), लीवर की बीमारी, आंखों की बीमारियां ठीक हुई हैं। दवा बनाने की बीकानेर रसायन शाला भी बनाई गई है। धीरे-धीरे काम आगे बढ़ रहा है।
देवी सिंह भाटी, बीकानेर

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