सर्वे के लिए अलग-अलग स्कूलों में अलग-अलग कक्षाएं चिह्नित की गई हैं। कक्षा 3 की परीक्षा में विद्यार्थी से 60 प्रतिशत पाठ्यक्रम दूसरी कक्षा का तथा 40 प्रतिशत वर्तमान कक्षा के पाठ्यक्रम से वैकल्पिक सवाल पूछे जाएंगे। इसी तरह कक्षा 5 एवं कक्षा 8 में भी यही पैटर्न रहेगा।
इस सर्वे से यह भी स्पष्ट होगा कि शिक्षा के अधिकार में नि:शुल्क शिक्षा से भावी पीढ़ी को कितना फायदा मिल रहा है। सर्वे में चार विषय अंग्रेजी, गणित, विज्ञान एवं संस्कृत की परीक्षा होगी। निर्दिष्ट कक्षा के सभी विद्यार्थियों को परीक्षा देनी होगी। पाठ्यक्रम पूरा करवाने की तैयारी की जा रही है। इसमें पूरे देशम में प्रति विद्यार्थी शिक्षा पर खर्च का कितना फायदा हो रहा है, इसका आकलन भी होगा।
किरण कंवर शेखावत, प्राचार्य, करनाणी बालिका उ.मा.वि. गंगाशहर
पूरे देश में सर्वे के लिए 13 नवम्बर को ओएमआर शीट से परीक्षा होगी। इससे शिक्षा की स्थिति की ग्रेडिंग की जाएगी। यह पता चल सकेगा कि शिक्षा का वास्तविक स्तर क्या है? विषय लेवल के स्तर पर किस तरह के इनपुट की जरूरत है। अभी प्रारंभिक शिक्षा में कक्षा 3, 5 एवं 8 का सर्वे हो रहा है। आगे कक्षा 10 का होगा। इससे यह देखा जाएगा कि शिक्षा की गुणवत्ता के लिए क्या कदम उठाने की जरूरत है।
विजय शंकर आचार्य, संयुक्त निदेशक (प्रशासन)