ये भी पढ़ें: Diwali पर लक्ष्मी की कृपा के लिए इस दुर्लभ पक्षी की बलि चढा़ते हैं लोग, पुलिस ने किया चौंकाने वाला खुलासा
दिवाली पर मिठाईयों की काफी बिक्री होती है, लेकिन इस त्योहारी सीजन में मिलावट खोर भी बाज नहीं आ रहे हैं। इसी के तहत बुलंदशहर के उटरावली गांव में सोमवार को जब फ़ूड सेफ्टी विभाग की टीम एक अहाते में पहुंची तो भारी मात्रा में रखा स्टार्च, मैदा, सफेद बंगाली रसगुल्ले और गुलाब जामुन की खेप देख अफसरों के होश फाख्ता हो गए। अफसरों को ये समझने में कतई वक्त नहीं लगा कि मामला कुछ गड़बड़ जरूर है।
दरअसल,अहाते में स्टार्च और मैदा से भारी तादाद में बंगाली रसगुल्ले और गुलाब जामुन की खेप को तैयार कर रखा गया था। अहाते में एक सेंट्रो कार भी बंगाली रसगुल्लों की बाल्टियों से लदी खड़ी थी। इतना ही नहीं जिस चीनी की चाशनी में बंगाली रसगुल्लों और गुलाब जामुन को डुबाकर रसीला बनाया गया था, उसमें बेशुमार मक्खी और मच्छर तैर रहे थे। चाशनी भी घटिया किस्म की चीनी से तैयार की गई थी। इसका अंदाजा चाशनी की कढ़ाई के पास जमा मैले के अंबार से आप लगा ही सकते हैं।
ये भी पढ़ें: Dhanteras 2019: क्यों धनतेरस पर खरीदना शुभ होता है झाड़ू, इन बातों का विशेष ध्यान रखें
विभागीय अफसरों के मुताबिक दीवाली पर मिठाई की आड़ में जहर बांटने वाला मोहसिन मेरठ के सरधना छेत्र का रहने वाला है। मोहसिन दिवाली के मौके पर हर साल मेरठ से बुलंदशहर आता है और किराए पर अहाता लेकर स्टार्च और मैदा से रसगुल्ले तैयार कर लाखों के वारे न्यारे कर मेरठ लौट जाता है। फिलहाल फ़ूड सेफ्टी विभाग की टीम ने रसगुल्लों और दूध को नष्ट कराकर मिलावट के काले कारोबार की बन्द करा दिया है। फ़ूड सेफ्टी अफसरों की टीम के मुताबिक अहाते से भारी मात्रा में स्टार्च, मैदा भी बरामद हुआ है। एक कुंतल से अधिक बंगाली रसगुल्लों और इतनी ही मात्रा में दूध को नष्ट कराया गया है। आरोपी मोहसिन को गन्दगी के सम्बंध में नोटिस जारी किया गया है। मिठाई के नमूनों को जांच के लिए प्रयोगशाला भेज दिया गया है। जांच रिपोर्ट के आधार पर मोहसिन के खिलाफ आगे की कार्रवाई होगी।
खासबात यह है कि मिठाई व्यापारी मोहसिन खुद भी स्वीकार कर रहा है कि वह दही, स्टार्च और मैदा से बंगाली रसगुलला और गुलाब जामुन तैयार करता है। वह सफाई भी देता की स्टार्च के बगैर रसगुल्ला बना पाना मुमकिन नहीं है।
रसगुल्ला और दूध के तीन नमूने प्रयोगशाला भेज दिए गए हैं। एक कुंतल से अधिक गुलाब जामुन, बंगाली रसगुल्लों और करीब इतनी ही मात्रा में दूध को नष्ट कराया गया है। जनपद में मिलावट का धंधा चलने नहीं दिया जाएगा।