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ऐसा शिवालय जो स्थापत्य कला का है बेजोड़ नमूना

कस्बे के ताकला गांव में स्थित शिव मंदिर स्थापत्य कला की दृष्टि से प्राचीनतम मंदिरों में से एक माना जाता है।

बूंदीApr 10, 2019 / 03:14 pm

पंकज जोशी

aisa shivaalay jo sthaapaty kala ka hai bejod namoona

ऐसा शिवालय जो स्थापत्य कला का है बेजोड़ नमूना

जजावर. कस्बे के ताकला गांव में स्थित शिव मंदिर स्थापत्य कला की दृष्टि से प्राचीनतम मंदिरों में से एक माना जाता है। शिव का भव्य और विशाल मंदिर मनमोहक है।
मंदिर निर्माण को लेकर इतिहासकारों और पुरातत्ववेताओं में काफी मतभेद है। ग्रामीणों के अनुसार इस मंदिर का निर्माण इंडो-आर्य कला का खूबसूरत उदाहरण है। लगभग एक हजार साल पुराने इस मंदिर का निर्माण लाल चमकीले पत्थरों से हुआ है। इस मंदिर का परकोटा एक वर्ग फीट की आकार वाली ईंटों से बना है। ग्रामीण विष्णु शर्मा, लालूराम गुर्जर ने बताया कि इस मंदिर पर स्थित विष्णु भगवान की मूर्ति को वर्षों पहले चोर चुरा ले गए। चोरी करने के पीछे मुख्य कारण मूर्ति का बेशकीमती होना माना जाता है।
बुजुर्गों ने बताया कि इस मंदिर के पास खेड़ा नामक गांव बसा हुआ था। जिसके साक्ष्य अभी भी खुदाई करने पर र्इंटों के निकलने से दिखाई देते हैं।
गांव सहित क्षेत्र में यह मंदिर लोगों की आस्था का केंद्र है। मंदिर के पुजारी शम्भूदत्त दाधीच ने बताया कि पूर्वजों के अनुसार इस मंदिर के गर्भद्वार के ऊपर स्थित गुफा में ऋषि मुनि तपस्या किया करते थे। जिसके साक्ष्य यहां मौजूद है। इस मंदिर पर श्रद्धालु दूर-दूर से आते हैं।

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