रोटेदा. क्षेत्र से होकर गुजर रहे स्टेट हाइवे 37ए कापरेन-रोटेदा सडक़ को नो माह बीत जाने के बाद भी गति नही मिल पा रही है।
बूंदी•Oct 22, 2019 / 08:18 pm•
पंकज जोशी
सडक़ पर फैली गिट्टी, राहगीरों के लिए बन रही जानलेवा
रोटेदा. क्षेत्र से होकर गुजर रहे स्टेट हाइवे 37ए कापरेन-रोटेदा सडक़ को नो माह बीत जाने के बाद भी गति नही मिल पा रही है। जिससे रोजना कार्य कार्यो से जाने वाले वाहन चालकों का जीना मुहाल हो चुका है। गौरतलब है कि तत्कालीन सरकार ने इस सडक़ को बनाने के लिए 5 करोड़ 75 लाख रुपये की राशि स्वीकृत की थी। उस समय संवेदक द्वारा रोटेदा चम्बल पुलिया से कापरेन तक दस किमी सडक़ का निर्माण करना था। हालांकि संवेदक ने सडक़ की खुदाई कर चौड़ाई बढ़ाकर गिट्टी फैलाकर सडक़ को छोड़ दिया। परन्तु सत्ता परिवर्तन के बाद दो महीने कार्य चला और फरवरी में बंद हो गया। जो हाल भी सुचारू नहीं हो पाया। सडक़ पर फैली गिट्टी राहगीरों के लिए परेशानी का सबब बनी हुई है। सडक़ पर दिनभर मिट्टी के गुब्बार उड़ते रहते है। जिससे सामने का वाहन तक नजर नही आता। वही कही बार तो गिट्टिया उछलकर एक दूसरे वाहनों से टकरा जाती है। जिससे हरदम हादसों का खतरा बना रहता है। ग्रामीणों द्वारा कही दफा सार्वजनिक निर्माण विभाग के अधिकारियों को भी अवगत करवाया गया। परन्तु कोई सुनवाई नही हुई।
पैसों का अभाव बताकर बंद किया था संवेदक ने कार्य
सडक़ का कार्य संवेदक ने फरवरी माह में बन्द कर दिया था। संवेदक बार बार भुगतान नहीं होना बताता रहा। जिससे आमजन को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
राजस्थान को मध्यप्रदेश से जोड़ता है यह मार्ग
बूंदी जिले की अंतिम सीमा पर बसे रोटेदा गांव से होकर चम्बल नदी के दूसरे छोर पर स्थित कोटा जिले के मंडावरा, सुल्तानपुर, इटावा सहित मध्यप्रदेश प्रदेश के श्योपुर को जोड़ता है। परन्तु प्रशासनिक उदासीनता एवं जनप्रतिनिधियों की उपेक्षा के चलते यह मार्ग बदहाल पड़ा हुआ है।