scriptनीट से छूट दिलाने के लिए अध्यादेश लाएगी राज्य सरकार: विजय भास्कर | Government will bring ordinance to get rid of Nitish: Vijay Bhaskar | Patrika News

नीट से छूट दिलाने के लिए अध्यादेश लाएगी राज्य सरकार: विजय भास्कर

locationचेन्नईPublished: Aug 14, 2017 10:41:00 pm

सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस और बीडीएस के दाखिले में नेशनल एलिजीबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (नीट) से राज्य के विद्यार्थियों को छूट दिलाने के लिए तम

neet

neet

चेन्नई. सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस और बीडीएस के दाखिले में नेशनल एलिजीबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (नीट) से राज्य के विद्यार्थियों को छूट दिलाने के लिए तमिलनाडु सरकार जल्द एक अध्यादेश पारित करेगी। रविवार को यह बयान तमिलनाडु के स्वास्थ मंत्री सी. विजय भास्कर ने दिया और कहा कि यह अध्यादेश केवल एक साल के लिए राज्य के विद्यार्थियों को नीट से छूट दिलाएगा।


उन्होंने कहा कि इस विषय पर वह मुख्यमंत्री ईके पलनीस्वामी से चर्चा करेंगे। सरकार इस छूट में केवल सरकारी कॉलेजों को शामिल करने की योजना में है। प्रयास में और तेजी लाने के लिए स्वास्थ्य सचिव जे. राधाकृष्णन रविवार देर शाम दिल्ली रवाना होंगे। इस मसले पर केंद्रीय मंत्री निर्मला सीतारमन ने कहा कि नीट लागू होने से कैसे राज्य के ग्रामीण इलाके के बच्चों को इसका नुकसान होगा इस बारे में राज्य सरकार ने उन्हें अवगत कराया है और राज्य के इस प्रयास में केंद्र सरकार हर सम्भव मदद करने को तैयार है।


गौरतलब है कि स्नातक और पारा स्नातक कोर्स में दाखिले के लिए नीट से छूट के लिए जनवरी में में सर्वसम्मति से एक प्रस्ताव पारित किया जिसे राष्ट्रपति की अनुमति के लिए आग्रसरित कर दिया गया है।


जिसके बाद फाइल को जरूरी आवंटन की अनुमति के लिए गृह विभाग के पास भेजा गया है। दो सप्ताह पहले राज्य सरकार ने दो साल की छूट के लिए केंद्र सरकार को एक आवेदन दिया है। मेडिकल कोर्स में दाखिले के लिए काउंसलिंग १७ जुलाई से शुरू होने वाली थी जिस पर रोक लगाई गई है।

इस्तीफा दें सीएम और मंत्री : स्टालिन 
डीएमके कार्यवाहक अध्यक्ष एम. के. स्टालिन ने आरोप लगाया है कि नीट मामले में तमिलनाडु सरकार ने राज्य के सरकारी स्कूल के विद्यार्थियों के साथ छल किया है। मुख्यमंत्री और मंत्रियों को इसकी नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए इस्तीफा देना चाहिए।


यहां रविवार को वक्तव्य में उन्होंने कहा कि नीट मामले में मुख्यमंत्री, मंत्री और सांसदों ने विद्यार्थियों को ठगा है। उनको विद्यार्थियों से सार्वजनिक माफी मांगनी चाहिए। इस मामले का समाधान खोजने का दावा करने वाली केंद्र और राज्य सरकार दोनों ने संयुक्त रूप से छल किया है। लोकसभा उपाध्यक्ष एम. तम्बीदुरै का बयान कि नीट मामला समाप्त हो चुका है, आश्चर्यजनक है। सांसद अपनी नाकामी को स्वीकारते हुए इस्तीफा दें। मुख्यमंत्री और राज्य केबिनेट के सदस्यों को भी स्वेच्छा से त्यागपत्र दे देना चाहिए।


स्टालिन ने कहा कि केंद्र सरकार ने सभी राज्यों पर नीट थोपते हुए सामाजिक न्याय की नीति को कुचलने का प्रयास किया है। जब नीट का मामला विचाराधीन था तब केंद्र सरकार ने जल्दबाजी में परीक्षा आयोजित कराई। तमिलनाडु विधानसभा में नीट से छूट के लिए पारित दो विधेयकों को राष्ट्रपति के पास मंजूरी के लिए नहीं भेजा।


डीएमके कार्यवाहक अध्यक्ष ने राज्य सरकार से अनुरोध किया कि वह राष्ट्रपति से इन दोनों बिलों पर सहमति हासिल करे और साथ ही इस विषय में उनकी केंद्र सरकार से हुई वार्ता को उजागर करे। राज्य की स्वायत्तता का दावा करने वाली केंद्र सरकार ने इस मामले में दोगला रुख अपनाया है।

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो