इससे पहले डीएमके सांसद कनिमोझी ने पेरियार की मूर्ति के साथ छेड़छाड़ करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की। कनिमोझी ने कहा कि उनके निधन के दशकों बाद भी पेरियार अभी भी वहीं हैं जो कथा सेट करते थे। वह एक मूर्ति नहीं है बल्कि आत्म सम्मान और सामाजिक न्याय का मार्ग है। उन्होंने आरोप लगाया कि जो लोग तमिलनाडु के लोगों का समर्थन हासिल नहीं कर पा रहे हैं वही लोग ऐसे मामलों में लिप्त हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि ऐसे मामलों के बाद भी राज्य सरकार द्वारा किसी प्रकार की कार्रवाई नहीं की जा रही है और यह आश्चर्यजनक नहीं है क्योंकि वे सभी आत्म सम्मान खो चुके हैं।