केस कम हुए तो बढ़ी लापरवाही
कोरोना संक्रमण का प्रभाव काफी हद तक कम होते ही अब लोग सतर्कता नहीं बरत रहे हैं। संक्रमण की दूसरी लहर जब आपने पूरे सबाब पर था तो हर और सतर्कता देखी जा रही थी लेकिन जैसे ही संक्रमण की चेन कमजोर हुई फिर से लापरवाही देखने को मिल रही है। लोग अब मास्क को लेकर भी लापरवाह होते जा रहे हैं। तीसरी लहर को लेकर जहां सरकार की तरफ से बचाव के निर्देश दिए जा रहे हैं तो प्रशासनिक अफसर भी अभी से तैयारी में जुटे हुए हैं। कोरोना की तीसरी लहर से लापरवाह दिख रहे लोग न तो मास्क पहनने को तैयार हैं और न ही सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर रहे हैं। मास्क तो दूर सेनेटाइजर का इस्तेमाल भी लोग भूल चुके हैं। भीड़ से परहेज करने की बजाय लोग नियमों की धज्जियां उड़ाते हुए समूह में बाजारों में पहुंच खरीदारी कर रहे हैं। कई लोगों के मास्क भी नाक के नीचे लटके रहते हैं। दुकान तथा बाजार में पहले की तरह ही सामान की खरीद को लेकर आपा-धापी है। शारीरिक दूरी का कोई मतलब यहां नहीं दिखता है।
कोरोना संक्रमण का प्रभाव काफी हद तक कम होते ही अब लोग सतर्कता नहीं बरत रहे हैं। संक्रमण की दूसरी लहर जब आपने पूरे सबाब पर था तो हर और सतर्कता देखी जा रही थी लेकिन जैसे ही संक्रमण की चेन कमजोर हुई फिर से लापरवाही देखने को मिल रही है। लोग अब मास्क को लेकर भी लापरवाह होते जा रहे हैं। तीसरी लहर को लेकर जहां सरकार की तरफ से बचाव के निर्देश दिए जा रहे हैं तो प्रशासनिक अफसर भी अभी से तैयारी में जुटे हुए हैं। कोरोना की तीसरी लहर से लापरवाह दिख रहे लोग न तो मास्क पहनने को तैयार हैं और न ही सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर रहे हैं। मास्क तो दूर सेनेटाइजर का इस्तेमाल भी लोग भूल चुके हैं। भीड़ से परहेज करने की बजाय लोग नियमों की धज्जियां उड़ाते हुए समूह में बाजारों में पहुंच खरीदारी कर रहे हैं। कई लोगों के मास्क भी नाक के नीचे लटके रहते हैं। दुकान तथा बाजार में पहले की तरह ही सामान की खरीद को लेकर आपा-धापी है। शारीरिक दूरी का कोई मतलब यहां नहीं दिखता है।