एसपी ने लगाया एक-एकहजार का अर्थदंड
छतरपुर•Sep 11, 2018 / 02:58 pm•
rafi ahmad Siddqui
Use of VVPat machine in election
छतरपुर। चुनाव आयोग द्वारा मांगी गई जानकारी गलत देना 18 पुलिस के अधिकारियों को भारी पड़ गया। चुनाव आयोग के निर्देश पर पुलिस मुख्यालय ने वर्ष 2013,2014 और 2018 में गुंडा एक्ट के तहत प्रस्तावित और स्वीकृत प्रकरणों की जानकारी मांगी गई थी। पुलिस के 10 निरीक्षक और 8 उपनिरीक्षकों ने गलत जानकारी दे दी। जिस पर कार्रवाई करते हुए पुलिस अधीक्षक ने सभी अधिकारियों को एक-एक हजार के अर्थदंड से दंडित किया है। पुलिस अधीक्षक द्वारा इन पुलिस अधिकारियों को बार-बार ताकीद दी गई थी कि, मांगी गई जानकारी खुद थाना प्रभारी चेक करके भेजेंगे। लेकिन पुलिस के अधिकारियों द्वारा भेजी गई जानकारी गलत पाई गई। कार्य में लापरवाही पाए जाने पर पुलिस अधीक्षक ने इन अफसरों को दंडित किया है।
इन पर हुई कार्रवाई :
दङ्क्षडत किए जाने वाले निरीक्षकों में कोतवाली टीआइ संधीर चौधरी, सिविल लाइन टीआइ विनायक शुक्ला, हरपालपुर टीआइ केएस परस्ते, गढ़ीमलहरा टीआइ प्रकाश गड़रिया, सटई टीआइ आशीष राजपूत, बमीठा टीआइ दिलीप पांडेय, बड़ामलहरा टीआइ शिवकांत दुबे, बक्स्वाहा टीआइ आरएन तिवारी, लवकुशनगर टीआइ केडी सिंह, चंदला टीआइ सौरभ त्रिपाठी शामिल है। इनके साथ ही ओरक्षा रोड थाना प्रभारी मुकेश शाक्य, अलीपुरा थाना प्रभारी राजेश सिंह बघेल, बिजावर के त्तकालीन थाना प्रभारी शिवशंकर मिश्रा, किशनगढ़ थाना प्रभारी वीरेन्द्र परस्ते, शाहगढ़ थाना प्रभारी उत्तम लाल अहिरवार, पिपट थाना प्रभारी जसवंत सिंह राजपूत, मातगुवां थाना प्रभारी माधवी अग्निहोत्री, गुलगंज थाना प्रभारी संजय अग्रवाल पर भी चुनाव आयोग द्वारा मांगी गई जानकारी गलत देने पर एक-एक हजार का अर्थदंड लगाया गया है। गौरतलब है कि पुलिस अधीक्षक ने कई बार जिले भर के थाना प्रभारियों को गुंडों के खिलाफ अभियान चलाने के लिए निर्देशित किया था लेकिन थाना प्रभारियों की असमाजिकतत्वों से नजदियों होने के कारण वे बार कार्रवाई से बचते रहे लेकिन जब इनकी कार्रवाइयों की जानकारी पुलिस मुख्यालय भोपाल से मांग गई तो अपनी नाकामियों पर पर्दा डालने के लिए थाना प्रभारियों ने गलत जानकारी ही अपने विभाग को भेज दी। थाना प्रभारियों द्वारा भेजी गई जानकारी जब पुष्टि की गई तो इसका झूठ पकड़ में आ गया।
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