इसके पीछे यूजीसी का उद्देश्य छात्रों को संबंधित पाठ्यक्रम में परिपूर्ण करना है। इससे पहले हर साल पाठ्यक्रम में बदलाव किया जाता था। विश्वविद्यालयों से जुड़े विशेषज्ञों की मानें तो इस बार पाठ्यक्रम प्रतियोगी परीक्षाओं को ध्यान में रखते तथा सामाजिक, आर्थिक और सांस्कृतिक क्षेत्रों में परिवर्तन का समावेश करते हुए बनेगा।
इसके लिए विश्वविद्यालय में सत्र 2017-18 के लिए अध्ययन मण्डल की बैठक 28 मई से होगी। इसमें सभी तरह के पाठ्यक्रम तैयार होंगे। विश्वविद्यालय में छह संकाय हैं, इनमें कला, वाणिज्य, विज्ञान, शिक्षा, विधि और सामाजिक विज्ञान शामिल हैं। इन छह संकायों में करीब 36 विषय हैं। इन सभी विषयों के पाठ्यक्रम इसमें तैयार होंगे और उनके प्रस्ताव विद्या परिषद की अगली बैठक में रखे जाएंगे।
प्रतियोगी परीक्षा के अनुकूल विश्वविद्यालय के उप कुल सचिव डॉ. बिट्ठल बिस्सा के अनुसार विश्वविद्यालय प्रबंधन का प्रयास होगा कि प्रतियोगी परीक्षाओं को ध्यान में रखते हुए पाठ्यक्रम बनाया जाए।