कलेक्टर ने फर्नीचर व्यवसायियों को बताया कि क्लस्टर जोन की विशेषता यह होगी कि एक निश्चित स्थान पर बड़े प्रांगण में व्यापक स्तर पर एक साथ फर्नीचन उत्पादन हो सकेगा। साथ ही इससे जुड़ी कई इकाईयां भी स्थापित की जाएंगी। इस कार्य में स्थानीय इच्छुक लोगों को प्रशिक्षण देकर उनके हुनर को निखारा जाएगा और उन्हें प्रोत्साहित करते हुए रोजगार भी सुलभ होगा।
जिले में वुडन फर्नीचर क्लस्टर क्षेत्र संभावित रूप से 50 एकड़ के क्षेत्र में विस्तारित एवं स्थापित किया जाएगा। जहां कारखाने एक स्थल पर रहेंगे। इस क्षेत्र की संभावना के लिए जिला प्रशासन प्राथमिकता एवं सजगता के आधार पर जमीन को चिन्हित कराने का कार्य शुरू करेगा। भारत वर्ष के जिन क्षेत्रों में वुडन फर्नीचर के क्षेत्र में बेहतर और सौंदर्ययुक्त तरीके से कार्य हो रहा है। उन क्षेत्रों का जिले व्यवसायियों को हुनर निखारने के लिए भ्रमण भी कराया जाएगा।
कलेक्टर एवं जीएम डीआईसी ने बताया कि वुडन फर्नीचर क्लस्टर में इनवेस्ट करने वाले व्यवसायियों को शासन द्वारा 40 फीसदी सब्सिडी मिल सकेगी। इस क्लस्टर को गति देने के लिए समिति हर स्तर पर समीक्षा कर व्यवसायियों से जुड़ी सभी समस्या का सम्पूर्ण रूप से निदान भी करेगी। जिला व्यापार एवं उद्योग केन्द्र भी पूर्ण रूप से सहयोग करेगा। कलेक्टर ने कहा कि फर्नीचर उद्योग अभी पुराने संसाधन पर निर्भर है, जिससे इस व्यवसाय से जुड़े व्यक्तियों की आमदानी भी कम है और नवीन तकनीक का उपयोग कम होने से कहीं पीछे भी है।
कलेक्टर ने बताया कि क्लस्टर क्षेत्र को और अधिक विस्तारित करने के लिए मेडिकल फेसिलिटी, स्कूल, बैंक की सुविधा भी इस क्षेत्र में मुहैया कराएंगे। क्लस्टर बनने से उत्पादन की बिक्री बाहर के जिलों एवं प्रदेशों में भी हो सकेगी। जिले में कनेक्टिविटी की सुविधा बेहतर है।