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छिंदवाड़ा

Corn City: छिंदवाड़ा खो देगा कॉर्न सिटी का तमगा

कॉर्न सिटी का तमगा छिंदवाड़ा बहुत जल्द ही खो देगा। इस तरह के हालात बनने लगे हैं। सरकार की बेरूखी और कीट पतंगों का आक्रमण इसकी मुख्य वजह है।

छिंदवाड़ाAug 08, 2020 / 09:59 am

babanrao pathe

Corn city

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छिंदवाड़ा. कॉर्न सिटी का तमगा छिंदवाड़ा बहुत जल्द ही खो देगा। इस तरह के हालात बनने लगे हैं। सरकार की बेरूखी और कीट पतंगों का फसल पर आक्रमण इसकी मुख्य वजह है। हर साल मक्का का उत्पादन रकबा घट रहा है। दाम भी तेजी से गिर रहे हैं, जिसके चलते किसानों का मोह मक्का की फसल से अब भंग होते नजर आ रहा। दो साल पहले ही छिंदवाड़ा को कॉर्न सिटी के रूप में पहचान मिली थी।

मक्का फसल का बम्पर उत्पादन होने के कारण छिंदवाड़ा में साल 2018 और 2019 में कॉर्न फेस्टिवल का आयोजन किया गया, जिसमें देश और विदेश से कृषि वैज्ञानिकों के अलावा कई बड़ी हस्तियों ने शिरकत की। मक्का को लेकर कई तरह की योजनाएं तैयार की गई और उत्पादन बढ़ाने पर भी मंथन किया गया, लेकिन इसके सार्थक परिणाम वर्तमान में जरा भी नजर नहीं आ रहे हैं। मक्का का उत्पादन रकबा बढऩे की बजाए घट रहा है। किसानों को पर्याप्त दाम नहीं मिल रहा। फसल को कम दाम मिलने और लागत बढऩे के कारण अब जिले के किसानों ने मक्का फसल की बोवनी कम कर दी है। हर साल मक्का का रकबा कम होते जा रहा है। समय रहते ठोस कदम नहीं उठाए गए तो आने वाले दिनों में किसान मक्का की बहुत कम फसल लेंगे। सरकार ने समय रहते ठोस कदम नहीं उठाए तो वो दिन दूर नहीं जब छिंदवाड़ा कॉर्न सिटी का तमगा खो देगा। पिछले एक साल से फसल पर लगातार फाल आर्मी वर्म कीट का हमला बढ़ते जा रहा है, जिसके कारण फसल को बड़ा नुकसान पहुंच रहा।

बाहर से आयात किया मक्का
इस साल सरकार ने मक्का का बाहर से आयात कराया, जिसके कारण दाम तेजी से गिरे और फिर दोबारा नहीं उठे। इस साल मक्का आठ सौ रुपए प्रति क्विंटल बिका और अधिकतम बारह सौ रुपए प्रति क्विंटल खरीदा जा रहा है और थोड़ा बहुत उपर या फिर नीचे हो सकता है। स्थानीय किसानों के पास जो मक्का वह बेच भी नहीं पाए और बाहर से मक्का का आयात कराया गया जिसके कारण इस तरह के हालात बने हैं।
-आशुतोष डागा, व्यापारी, कृषि उपज मंडी, कुसमैली

रकबा कम हुआ है
इस साल पूरे जिले में मक्का का लक्ष्य 2 लाख 70 हजार हेक्टेयर रखा था, उसकी तुलना में 2 लाख 47 हजार हेक्टेयर में बोया गया है।
-जेआर हेडाउ, उपसंचालक, कृषि विभाग, छिंदवाड़ा

साल मक्का का रकबा अधिकतम मूल्य प्रति क्विंटल
2018 2 लाख 79 हजार हेक्टेयर 1500

2019 2 लाख 98.8 हजार हेक्टेयर 2200

2020 2 लाख 47 हजार हेक्टेयर 1200

नोट- सभी आंकड़े कुसमैली कृषि उपज मंडी एवं कृषि विभाग के अनुसार

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