इस दौरान परिजन कपड़ा या मरीज की फाइल से हवा करते देखे गए। लोगों ने बताया कि विद्युत तारों में आग लगने के बाद जमकर विस्फोट हुआ, जिसकी वजह से वह घबराकर परिसर के बाहर आ गए थे। गौरतलब है कि एक दिन पहले एक्स-रे विभाग में भी शार्टसर्किट की वजह से विद्युत प्रवाह बाधित हो गया था, जिसकी वजह से एक्स-रे समेत अन्य जांच नहीं हो पाई थी। इधर अस्पताल के कर्मचारियों ने बिजली आपूर्ति बंद कर सुधार किया तथा काफी मशक्कत के बाद फिर से व्यवस्था बनाई गई।
सामग्री की गुणवत्ता पर उठ रहे सवाल –
जिला अस्पताल में बिजली व्यवस्था ठेका पद्धति के माध्यम से की गई है, इसमें ठेकेदार द्वारा उपयोग की गई बिजली सामग्री की गुणवत्ता और क्षमता की मॉनिटरिंग नहीं की गई। गर्मी में सामान्य से अधिक लोड बढऩे से गुणवत्ताहीन वायरों में आग लगने के मामले लगातार सामने आ रहे है। इस समस्या पर लोग कई सवाल भी उठा रहे है।