लुटेरों की तलाश में चौतरफा छापेमारी पिछले रविवार को इलाहाबाद मुंबई रेलमार्ग के इलाहाबाद मानिकपुर रेलखण्ड पर स्थित पनहाई स्टेशन के पास गंगा कावेरी एक्सप्रेस ट्रेन में हुई लूट की वारदात का पर्दाफाश करने में जांच टिमों के पसीने छूट रहे हैं. जनपद चित्रकूट में जहां दस्यु प्रभावित इलाकों से लेकर संग्दिग्ध लोगों बदमाशों के क्षेत्रों में चौतरफा छापेमारी जारी है वहीं पड़ोसी राज्य मध्य प्रदेश के सतना जबलपुर कटनी जिले में भी जीआरपी व् आरपीएफ एमपी पुलिस लुटेरों की तलाश का रोडमैप तैयार कर रही है. यही नहीं जांच टीमों के हांथ महाराष्ट्र के नागपुर तक पहुंचे हैं और वारदात के खुलासे को लेकर कड़ियों को तलाशने का काम शुरू है.
लगातार लग रहा अफसरों का दौरा वारदात के बाद जीआरपी व् आरपीएफ तथा रेलवे के अफसरों का दौरा लगातार प्रस्तावित हो रहा है मानिकपुर में. घटना के बाद से कई बार दौरा कर चुके आईजी जीआरपी बीआर मीणा ने मातहतों को घटना की जांच के कड़े निर्देश दिए हैं लेकिन जीआरपी की ही लापरवाही उजागर होने पर इस घटना को लेकर उनके पास कार्रवाई के आलावा कोई और जवाब नहीं बच रहा है. पहले चार जीआरपी जवानों को निलम्बित किए जाने के बाद अब कार्रवाई की तलवार मानिकपुर जीआरपी प्रभारी हरिशंकर पर लटकी है और उन्हें फ़िलहाल लाइन हाजिर कर दिया गया है. एसपी जीआरपी जबलपुर(मध्य प्रदेश) विनीत जैन भी घटना के खुलासे को लेकर मानिकपुर की आबोहवा परख चुके हैं.
पुलिस व् एसटीएफ की भी फजीहत बीहड़ के दस्यु गैंगों से निपट रही जिला पुलिस व् एसटीएफ को भी इस घटना को लेकर फजीहत का सामना करना पड़ रहा है. चूंकि वारदात के बाद दस्यु गैंगों का नाम कुछ इस तरह से उछाला गया कि पुलिस व् एसटीएफ भी सकते में आ गई. हालांकि अभी तक वारदात में दस्यु गैंगों की सीधे तौर पर कोई भूमिका सामने नहीं आई है. अफसरों के पास एक ही जवाब है अभी तक कि जांच की जा रही है सफलता जल्द मिलेगी. जीआरपी प्रभारी मानिकपुर सुनील सिंह ने बताया कि प्रयास जारी है अभी कुछ कह नहीं सकते.