सदर थाना प्रभारी शिवलाल मीणा ने बताया कि प्रताप टेक्नोक्राफ्ट एनर्जी सोल्यूशंस
जयपुर के प्रोजेक्ट मैनेजर जयपुर फुलेरा निवासी दिनेश जांगिड़ ने रिपोर्ट दर्ज कराई। इसके अनुसार पांच अगस्त 2017 की रात कंपनी के गोदाम पर चौकीदार सेंती निवासी देवीलाल गुर्जर सो रहा था। आधी रात बाद आए आधा दर्जन से अधिक बदमाशों ने देवीलाल को बंधक बनाकर ट्रांसफार्मर खोलकर तांबा निकालकर जीएसएस पर खड़ी कैंपर जीप में भरकर बाइक भी लूटकर ले गए।
इस पर मामले की गंभीरता को देखते हुए विशेष टीम बनाई गई। अनुसंधान के बाद लूट गिरोह का पता चलने पर राजसमंद के लावा सरदारगढ़ हाल चित्तौडग़ढ़ रेलवे स्टेशन क्षेत्र निवासी नाना उर्फ नंदा उर्फ नंदकिशोरनाथ पुत्र बालकनाथ योगी, रतलाम मध्यप्रदेश के ईश्वरनगर निवासी राकेश पुत्र हीरालाल भील, शहर के देहली गेट छीपा मोहल्ला हाल कच्ची बस्ती निम्बाहेड़ा निवासी साबिर मोहम्मद पुत्र मोहम्मद अली, मध्यप्रदेश सिंगोली थानांतर्गत अथवा हाल भदेसर थानांतर्गत बानसेन निवासी अल्ताफ खां पुत्र इनायत अली व बांसवाड़ा के खमेरा थानांतर्गत मालीखेड़ा निवासी दिनेश उर्फ बाड्या पुत्र हेरसिंह निनामा को गिरफ्तार किया।
वहीं चोरी के माल के खरीदार जावद दरवाजा निम्बाहेड़ा निवासी शौकत पुत्र अजीज खां तथा
उदयपुर के प्रतापनगर थानांतर्गत मीरानगर पुराना आरटीओ ऑफिस के पास रहने वाले मांगीलाल पुत्र चतुर्भुज लौहार को गिरफ्तार किया गया। सीआई मीणा के अनुसार आरोपितों से हाल ही में चित्तौडग़ढ़ शहर में हुई जैन
मंदिर से लाखों की चोरी की वारदात के संबंध में भी पूछताछ की जाएगी।
दूसरे जीएसएस पर भी इसी तरह की वारदातें पुलिस की पूछताछ में इन बदमाशों ने बताया कि उनके गिरोह ने शंभूपुरा जीएसएस पर आठ अक्टूबर 2017 की रात को गार्ड को ऑफिस में बंद कर वारदात की। 23 दिसंबर 2017 को प्रतापगढ़ के पीपलखूंट में भी जीएसएस कर्मचारी को बंधक बना वारदात कर वहां से एक बाइक उठाकर लाए। 11 नवंबर को भी प्रतापगढ़ के सुहागपुरा से भी गार्ड को मारपीट कर बंधक बना कर वारदात की व एक बाइक व अन्य सामान ले गए।
छोटीसादड़ी जीएसएस पर भी इसी तरह गार्ड को मारपीट कर बांधकर वारदातें की। इसके अलावा गिरोह ने प्रतापगढ़ व चित्तौडग़ढ़ जिले में भदेसर, भादसोड़ा, मंगलवाड़, विजयपुर, शंभूपुरा, निम्बाहेड़ा सदर, निम्बाहेड़ा व चित्तौडग़ढ़ के आसपास व धरियावद, पीपलखूंट, सुहागपुरा के आसपास भी करीब तीन दर्जन ट्रांसफार्मर का तांबा चोरी की वारदातें की।
दो कांस्टेबलों की मुखबिरी फिर रंग लाई आरोपितों की गिरफ्तारी में विशेष टीम में शामिल एसआई नाथूसिंह, एएसआई देवीलाल सेन, कांस्टेबल पुष्पराजसिंह, रामावतार, पुष्पेन्द्र व साइबर सेल के राजकुमार सोनी का योगदान रहा। सदर थाने के कांस्टेबल रामावतार व पुष्पराजसिंह के मुखबिर
तंत्र व खुफिया जानकारी के जरिये आरोपितों तक पहुंचने में सफलता मिली।