फरीद ने ही यह जानकारी दी
बेंगलुरु के पुलिस कमिशनर टी सुनील कुमार ने बताया कि इसकी जानकारी खुद फरीद दी। जांच के दौरान पूछताछ में उसने बताया कि जनार्दन रेड्डी और दूसरे लोगों ने उससे वादा किया था कि वे उसे प्रवर्तन निदेशालय की जांच से बचाएंगे। इस एवज में उसने 18 करोड़ रुपए लिए। बता दें कि जनार्दन रेड्डी फिलहाल जमानत पर जेल से बाहर है। उस पर अवैध खनन का मामला चल रहा है।
ये है मामला
बेंगलूरु पुलिस कमिश्नर ने मामले की जानकारी देते हुए बताया कि 2016-17 में निवेशकों के पैसे से एम्बिडेंट कंपनी बनी थी। कंपनी ने निवेशकों को हर महीने 30-40 प्रतिशत पैसा वापस करने का भरोसा दिलाया था। जब उसने निवेशकों के पैसे नहीं लौटाए तो कुछ लोगों ने कंपनी पर केस किया। इसी सिलसिले में जनवरी 2017 में ईडी ने कंपनी पर छापे मारे। अब यह केस क्राइम ब्रांच के पास है। क्राइम ब्रांच को पता चला कि इस दौरान एम्बिट कंपनी ने 18 करोड़ रुपए का ट्रांजैक्शन अंबिका ज्वेलर्स के रमेश कोठारी को किया था। जब कोठारी से बाबात पूछताछ की गई तो उन्होंने बताया कि ट्रांसफर कर दिया था। जब कोठारी से इस सिलसिले में पूछताछ की गई तो उसने बताया कि उसने इसके बदले 57 किलो सोना जनार्दन रेड्डी के पीए अली को दिया था। पुलिस अब रेड्डी से पूछताछ के लिए समन जारी करेगी। रेड्डी फरार चल रहे हैं।