धर्मशाला में बम विस्फोट होती ही अन्य आगंतुकों के बीच अफरा-तफरी मच गई। धर्मशाला में रुके लोग चिल्लाते हुए भागने लगे। घटना की जानकारी मिलते ही नगर थानाध्यक्ष जेपी सिंह दल बल के साथ मौके पर पहुंचे। धर्मशाला में जख्मी हालत में मौजूद एक युवक को पुलिस ने हिरासत में लेकर इलाज के लिए सदर अस्पताल पहुंचाया। बताया जा रहा है कि घायल व्यक्ति आत्मघातियों में से एक हो सकता है। जख्मी युवक जितेंद्र पासवान उर्फ विक्की पासवान पश्चिम बंगाल स्थित कोलकाता के तेलीपारा का रहने वाला है।
इस मामले में पुलिस ने इस घटना के बाद धर्मशाला से जख्मी हालत में भाग रहे एक अन्य आरोपी को गोला सब्ली मोहल्ला के मछुआ टोली से गिरफ्तार कर लिया है। पकड़े गए दूसरे युवक से पूछताछ कर पुलिस उसे भी इलाज के लिए सदर अस्पताल भेज रही है। नगर थानाध्यक्ष जेपी सिंह ने बताया है कि हरखेन कुमार जैन धर्मशाला में आए 4-5 की संख्या में संदिग्धों के झोले में रखा बम विस्फोट हो गया था, जिसमें जख्मी हालत में 2 लोगों को गिरफ्तार किया गया है, जिनका इलाज सदर अस्पताल में कराया जा रहा है। अन्य लोगों की गिरफ्तार करने के लिए पुलिस छापेमारी कर रही है।
जानकारी के मुताबिक पांच आत्मघाती हमलावर कोलकाता से किसी बड़ी घटना को अंजाम देने बिहार पहुंचे थे। लेकिन कम डेंसिटी वाला बम समय से पहले ही ब्लास्ट हो गया। घटनास्थल पर डीएम एसपी पहुंच चुके है। मौके पर पहुंची पुलिस को कमरे से पिस्टल व आधार कार्ड बरामद हुआ है।
पुलिस ने जैन धर्मशाला को सील कर दिया है। तलाशी का काम जारी है। दूसरी तरफ पटना से भी बम निरोधक दस्ता आरा के लिए रवाना हो चुका है। पुलिस शहर की नाकेबंदी कर सघन छापेमारी कर रही है।
पटना के आइजी ने घटना के बारे में बताया है कि इस मामले को आत्मघाती या आतंकी हमला कहना जल्दबाजी होगी। पुलिस पूरे मामले की जांच कर रही है। जांच के बाद ही यह पता चलेगा कि इस घटना के पीछे किसका हाथ है। फिलहाल घायलों की स्थिति खतरे से बाहर है।
इससे पहले पिछले महीने जनवरी में ही बोधगया को दहलाने की साजिश नाकाम हो गई थी। आतंकियों ने महाबोधि मंदिर परिसर के पास तीन जगहों पर विस्फोटक छुपा रखे थे। इसी बीच कालचक्र मैदान के गेट नम्बर चार के जेनरेटर के पास थरमस फटने की घटना हुई। इसकी आवाज सुनकर सुरक्षा में तैनात पुलिसवाले पहुंचे। 7 जुलाई 2013 को बोधगया में सीरियल बम ब्लास्ट हुए थे। इसको इंडियन मुजाहिद्दीन ने अंजाम दिया था। साल 2014 में पटना के गांधी मैदान में पीएम मोदी की रैली के समय भी धमाके हुए थे। इसके बाद इंडियन मुजाहिद्दीन के कई आतंकियों को गिरफ्तार किया गया था। इसमें आईएम के संस्थापक यासीन भटकल के अलावा कई आतंकी शामिल थे।