मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक भालू लोगों के घरों के ताले तोड़ भीतर रखे अनाज, घी, नमक और चीनी आदि को चट कर रहे हैं। बताया जा रहा है कि भालुओं को बंद घरों में रखे अनाज की खुशबू आकर्षित कर रही है। मुनस्यारी के एसडीएम यशवीर सिंह के मुताबिक हिमालयी गांवों में भालुओं द्वारा घरों के ताले तोड़ने की शिकायतें मिल रही हैं। उन्होंने बताया कि वन विभाग की टीम को मौके पर निरीक्षण के लिए भेजा जा रहा है।
अक्तूबर में सर्दियों की शुरुआत के साथ ही निचले इलाकों का रुख कर जाते हैं। मार्च तक गांव पूरी तरह वीरान रहते हैं।
हिमालयी क्षेत्रों के माइग्रेशन वाले गांवों में इन दिनों भालुओं का आतंक छाया हुआ है। ठंड शुरू होने के बाद इन गांवों में रहने वाले लोग घाटियों की ओर चले जाते हैं। ग्रामीण अगली बार प्रवास पर आने के लिए वहां कुछ अनाज सुरक्षित छोड़कर आते हैं। भालू घरों के ताले तोड़कर उस अनाज को चट कर रहे हैं।
आमतौर पर जंगलों में कंदमूल और जड़ी-बूटी खाने वाले भालुओं के व्यवहार में तेजी से आ रहे इस बदलाव से हर कोई हैरत में पड़ा हुआ है। बुधवार को ही भालुओं ने बिल्ज्यू, बुर्फू और टोला के तीनों घरों के ताले तोड़कर भीतर रखा अनाज चट कर दिया था।