धौलपुरPublished: Jun 05, 2023 08:02:20 am
Akshita Deora
Rajasthan Assembly Election 2023: सुबह के नौ बजे हैं। बड़ी संख्या में लोग बाहर जाते दिख रहे हैं। शहर के बीच से गुजर रहे आगरा-मुम्बई हाई-वे पर रोडवेज बस स्टैंड के निकट ही दर्जनों निजी बसें खड़ी हैं।
नागेश शर्मा/धौलपुर. Rajasthan Assembly Election 2023: सुबह के नौ बजे हैं। बड़ी संख्या में लोग बाहर जाते दिख रहे हैं। शहर के बीच से गुजर रहे आगरा-मुम्बई हाई-वे पर रोडवेज बस स्टैंड के निकट ही दर्जनों निजी बसें खड़ी हैं। बसों में बैठे महिला-पुरुष रोजगार के लिए आगरा-ग्वालियर (यूपी-एमपी) की ओर जा रहे हैं, फिर इन्हीं बसों से शाम को लौटेंगे भी। राजस्थान के इस सीमान्त जिले में आज भी रोजगार के लिए कोई बड़ी इंडस्ट्री नहीं है। सैकड़ों लोग रोज खाने-कमाने आगरा-ग्वालियर जाते हैं। मैं 552 किलोमीटर दूर नागौर से धौलपुर के हाल जानने पहुंचा। बस स्टैंड के पास ही मौजूद एक होटल मालिक नौरत अग्रवाल बोले, यह राजस्थान का पूर्वी प्रवेशद्वार है। प्रदेश सरकार यहां बड़ा उद्योग लगाए, ताकि लोगों में राजस्थान का होने का भाव आए। हालांकि यहां रेल और सडक़ों की कनेक्टिविटी बेहतर है।
छह किमी पर एमपी और 12 पर यूपी
आगे बढ़ा और कलक्ट्रेट के सामने पहुंचा, यहां यात्री महेंद्रकुमार मिले। वे बोले, धौलपुर रेल और सडक़मार्ग से पूरे देश से जुड़ा है, लेकिन इसका इसे पूरा लाभ नहीं मिल रहा। छह किमी पर मध्यप्रदेश और 12 किमी पर उत्तर प्रदेश की सीमा शुरू हो जाती है। यहां बोली और संस्कृति बृज की है। एडवोकेट अतुल भार्गव से धौलपुर के हाल जाने। वे बोले, यहां के जनप्रतिनिधि शहर में खरंजे और नाली बनाने को विकास समझते हैं, जबकि यह मानसिकता बदलने का समय है, वे धौलपुर के विकास का खाका तैयार करें। धौलपुर में छिपे पर्यटन को बढ़ावा दिलाएं, ताकि रोजगार के नए रास्ते खुलें। व्यापारी रामअवतार अग्रवाल का कहना था कि यहां बजरी माफिया बेकाबू हो चुका है और अवैध बजरी दोहन के कारण सडक़ों पर आए दिन हादसे हो रहे हैं।