सातपुते ने कहा,’यदि पुलिस सारांश रिपोर्ट के किसी भी बी या सी वर्गीकरण को दर्ज करती है, तो वह अंतिम नहीं हो सकती। हम न्यायालय के समक्ष इसका विरोध करेंगे। सुनवाई के बाद, यदि अदालत संतुष्ट है, तो वह पुलिस को फिर से जांच करने का निर्देश दे सकती है।’ उन्होंने पुलिस पर पूरे मामले में कई अन्य गवाहों के बयान दर्ज न करने और आरोपी की सुरक्षा के लिए केवल ‘एक या दो’ गवाहों के बयानों पर भरोसा करने को लेकर निशाना साधा और मामले में ठीक से जांच नहीं करने का आरोप लगाया।
सातपुते ने आगे कहा, ‘इसे देखते हुए हम बी सारांश रिपोर्ट का विरोध करेंगे और बॉम्बे उच्च न्यायालय के समक्ष एक रिट याचिका भी दायर करेंगे।’ तनुश्री दत्ता ने सितंबर 2018 में पाटेकर के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी, जिसमें उन्होंने एक दशक पहले, 2008 में एक फिल्म की शूटिंग के दौरान की घटना का जिक्र करते हुए नाना पर कथित यौन उत्पीडऩ का आरोप लगाया था, लेकिन उन्होंने (पाटेकर) ने उनके द्वारा लगाए गए आरोपों का खंडन किया था।