माँ दुर्गा मूर्ति विसर्जन : 7 एवं 8 अक्टूबर को ऐसे करें माँ दुर्गा की अस्थाई प्रतिमा का विसर्जन
शारदीय नवरात्रि के अंतिम दिन नवमी तिथि की रात में 8 से 12 बजे रात के बीच इन महाउपायों में से किसी भी एक को करने से व्यक्ति के जीवन की धन संबंधित सभी परेशानियां खत्म होने लगती है। इन उपायों को करते समय ध्यान रखें कोई भी रोके या टोके नहीं।
माँ दुर्गा अपने भक्तों के कल्याण के लिए सदैव तत्पर रहती है। श्रद्धालु भक्त नौ दिनों तक माँ आद्यशक्ति दुर्गा की उपासना विशेष विधि विधान से तो करते ही पर नवमी तिथि को किये गये ये उपाय कभी खाली नहीं जाते। शारदीय नवरात्रि के आखरी दिन सुबह नवमी पूजन, कन्या पूजन आदि कार्य किये जाते हैं। लेकिन अगर इस दिन रात में इन उपायों को पूर्ण विश्वास के साथ किया जाएं तो व्यक्ति की सभी तरह की समस्या और परेशानी दूर होने लगती है। माँ दुर्गा भवानी उपायकर्ता की कामनाएं पूरी कर देती है।
1- शारदीय नवरात्रि की नवमी तिथि 7 अक्टूबर की रात्रि में इस उपाय को करने से पहले गंगाजल मिले जल से स्नान करके घर के पूजा स्थल की थोड़ी सी जगह को गाय के गोबर से लीप लें, अब उसी जगह पर गाय के घी का दो मुंह वाला एक दीपक जलायें। दीपक के सामने एक कपूरी पान के पत्ते पर 5 लौंग, देशी कपूर, 5 इलायची और गुग्गल के साथ कुछ मीठा रखकर माता रानी को इसकी धूनी दें, एवं माँ दुर्गा के बीज मंत्र का एक हजार बार जप भी करें। ऐसा करने से कुछ ही दिनों में धन आवक के रास्ते खुल जाते हैं।
2- अगर किसी को अपना बनाना चाहते हो तो शारदीय नवरात्रि की नवमी तिथि की रात्रि में सुगंधित चंदन और केसर पाउडर को मिलाकर एक कपूरी पान के पत्ते पर रखकर जलाएं। अब माँ चंडी स्त्रोत का पाठ लाल रंग के आसन पर बैठकर करें। सुबह उठकर पान की राख की भस्म का तिलक माथे और गले पर लगाएं। ऐसा करने पर जिसे चाहेंगे, उसे अपने वश में कर सकते हैं।
3- शारदीय नवरात्रि की नवमी तिथि की रात को माँ दुर्गा जी के मंदिर में धन-वैभव की कामना से जाकर कपूरी पान के पत्ते पर केसर, चंदन का इत्र व गाय का घी को मिलाकर छोटा सा स्वास्तिक बनाएं। अब इस पर कलावा बांधकर एक सुपारी रख दें, धन संबंधित सभी परेशानियां खत्म होने लगेगी।
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