जल्द होगा बदलाव आपको बता दें कि आने वाले चुनाव को ध्यान में रखते हुए मोदी सरकार ने वित्त मंत्रालय ब्याज दरों में बढ़ोतरी के लिए इस समय लघु बचत योजनाओं का मूल्यांकन कर रहा है। अगर सरकार इस संबध में फैसला लेता है तो आने वाले समय में ब्याज दरों में परिवर्तन देखा जाएगा और यह बदलाव अगले वित्त वर्ष की पहली तिमाही में लागू हो सकता है।
EPFO पर भी बढ़ी हैं ब्याज दरें इसके साथ ही कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) की ओर से 2018-19 के लिए भविष्य निधि जमा पर ब्याज दर 8.55 फीसदी से बढ़ाकर 8.65 फीसदी करने के प्रस्ताव की घोषणा किए जाने के बाद छोटी बचत योजनाओं पर ब्जाज दरों में संशोधन करने पर विचार किया जा रहा है।
बैकों पर ब्याज दरों में कटौती का दबाव सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार बताया जा रहा है कि ब्याज दरों में कितनी वृद्धि होगी और किन योजनाओं को इसमें शामिल किया जाएगा इस पर अभी विचार किया जा रहा है औऱ जल्द ही इस पर फैसला ले लिया जाएगा। सरकार के इस कदम से देशभर में लाखों लघु बचतकर्ताओं को फायदा होगा। इसके साथ ही चुनाव की तिथियों की घोषणा होने के बाद आदर्श आचार संहिता लागू हो जाने के कारण सरकार किसी कल्याणकारी योजना की घोषणा नहीं कर सकती है।
होगा लोगों को फायदा आपको बता दें कि बाजार में जहां भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा प्रमुख ब्याज दरों में कटौती के बाद लोगों को उम्मीद है कि बैंकों के ब्याज दरों में भी कटौती की जा सकती है। ब्याज दरों में बदलाव अमल में आने पर इससे पेंशन धारकों, बुजुर्गों, किसानों और मुख्य रूप से छोटी बचतों के ब्याज से प्राप्त आय पर निर्भर रहने वाले लोगों को फायदा होगा।