डीएम नेहा शर्मा का नाम यूं ही लोगों की जुबान पर नहीं आता है। हाल ही में उन्होंने अवैध तेल का कारोबार करने और पटाखा फैक्ट्री का भंडाफोड़ किया था। इसके अलावा जिला अस्पताल में व्यवस्थाओं का निरीक्षण करने के लिए डीएम देर रात ही अस्पताल पहुंच गई थीं। जहां उन्हें देखकर खलबली मच गई थी। अब नगर निगम द्वारा संचालित किए जा रहे रैन बसेरों का निरीक्षण करने के लिए वह अंधेरे में ही निकल आईं।
हाल ही में शासन ने डीएम नेहा शर्मा को नगर आयुक्त की भी जिम्मेदारी दी है। निर्धारित समय तक जिलाधिकारी कार्यालय में समस्याएं सुनने के बाद डीएम क्षेत्र में अपना समय देती हैं। साथ ही शहर की समस्याओं के निपटारे को लेकर भी गंभीर बनी हुई हैं। वह दोनों ही जिम्मेदारियों को बखूवी निभा रही हैं।
गुरुवार रात्रि को भी डीएम नेहा शर्मा रैन बसेरे का निरीक्षण करने निकल पड़ी। उन्होंने नगर निगम क्षेत्र के सभी छह रैन बसेरों का निरीक्षण किया। यह रैन बसेरे सुभाष तिराहे के सामने, पालीवाल हाॅल के सामने, जिला अस्पताल के टीवी वार्ड के पास, रोडवेज बस स्टैण्ड, कोटला पुल के नीचे एवं रेलवे स्टेशन पर स्थित है। इन सब में अटेण्डेंट की भी तैनाती की गयी है। डीएम ने कहा कि टीटीजेड क्षेत्र में होने के कारण यहां अलाव नहीं जल सकेंगे। यहरं गैस हीटर की व्यवस्था की जा रही है।
डीएम ने बताया कि 22 दिसंबर तक सभी रैन बसेरों में गैस हीटर लगाए जाएंगे। उन्होंने बताया कि सर्दी के दौरान जनसमस्या को देखते हुए इसके वैकल्पिक प्रबंध किए जा रहे है। उन्होंने बताया कि वैकल्पिक व्यवस्था के रूप में गैस हीटरों का प्रयोग किया जाना प्रस्तावित है और 22 दिसम्बर तक यह चिन्हित स्थलों पर स्थापित करा दिए जाएंगे।
नगर की स्वच्छता के सम्बंध में जिलाधिकारी ने जनता से फीडबैक मांगा है। स्वच्छता संबंधी शिकायत के लिए हेल्पलाइन नम्बर भी जारी किए हैं। उन्होंने बताया कि साफ सफाई के लिये पर्याप्त आवश्यक संसाधन उपलब्ध हैं एवं डीजल इत्यादि से संबंधित लंबित भुगतान करा दिए गए हैं। उन्होंने सम्बन्धित अधिकारियों को कड़े दिशा निर्देश देते हुए सफाई व्यवस्था सुचारू रूप से चलाने को कहा। उन्होंने आम जनमानस से अपील की है कि यदि इन सभी प्रबंधों के उपरांत भी यदि किसी क्षेत्र में सफाई से सम्बन्धित किसी नागरिक को कोई शिकायत हो तो हेल्प लाइन नंबर 07906582802 एवं 08958575575 पर अपनी शिकायत दर्ज करा सकते हैं। उन्होंने बताया कि वाहनों के संचालन से सम्बन्धित औचक निरीक्षण भी किये जायेंगे तथा यदि कोई कर्मचारी दोषी पाया जाता है तो उसके विरूद्ध कठोर कार्यवाही अमल में लायी जायेगी।