अश्वनी के साथ फौज में भर्ती होने गये उनके मित्र बलवंत ने बताया कि हम दोनों साथ में ही भर्ती होने गए थे, लेकिन मेरिट में छंटनी की वजह से मेरा सिलेक्शन नहीं हो था। उन्होंने बताया कि अश्वनी बहुत ही बढ़िया स्वभाव के थे और गांव में आकर यहां के युवाओं को भर्ती के लिए प्रेरित करते थे। जिन युवाओं के पास पैसे की कमी होती थी, उन्हें अपने पास से पैसा देकर उन्हें भर्ती का फॉर्म भरवाते थे। शहादत पर परिजनों को सांत्वना बंधाने पहुंचे जिला पंचायत सदस्य कमलेश यादव ने कहा कि अश्वनी के शहीद होने से हमारे क्षेत्र को बहुत ही नुकसान हुआ है। हम चाहेंगे कि सरकार पाकिस्तान से इसका बदला जरूर ले।
राष्ट्र की रक्षा करते हुए जम्मू-कश्मीर के हंदवाड़ा में शहीद हुए सीआरपीएफ के जवान अश्विनी कुमार यादव, संतोष कुमार और चंद्रशेखर सी. के शौर्य और वीरता को नमन। राष्ट्र के प्रति आपका यह बलिदान अतुल्य है। हम सभी को आप पर गर्व है। जय हिंद!- योगी आदित्यनाथ, मुख्यमंत्री उप्र