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गोरखपुर

Lok sabha election 2019 पर्चा खारिज होने के खिलाफ न्यायालय की शरण में सुनील, भाजपा को हराने के लिए महागठबंधन का भी साथ दे सकते

Lok sabha election 2019

गोरखपुरMay 01, 2019 / 06:12 pm

धीरेन्द्र विक्रमादित्य

Yogi Adityanath and Sunil Singh

योगी आदित्यनाथ और सुनील सिंह

हिंदुस्थान निर्माण दल के प्रत्याशी सुनील सिंह का पर्चा खारिज होने के बाद अब न्यायालय की शरण में हैं। पत्रिका से बातचीत में बताया कि हाईकोर्ट में प्रत्याशिता खारिज करने के खिलाफ वह याचिका दायर करने जा रहे हैं। इलेक्शन पेटिशन के अलावा डीएम गोरखपुर के खिलाफ उच्चस्तरीय जांच के लिए भी वह न्यायालय से गुहार लगाएंगे।
पत्रिका से बातचीत करते हुए सुनील सिंह ने कहा कि जिस काॅलम को अपूर्ण बताकर उनका पर्चा खारिज किया गया है वह काॅलम इलेक्शन कमीशन की वेबसाइट पर पूरी तरह से भरा हुआ है। कलेक्ट्रेट पर नामांकन पत्रों की जो प्रतियां चिपकायी गई हैं वहां भी भरा गया है। केवल सत्ता के दबाव में उनकी प्रत्याशिता को खारिज किया गया है। सत्ता पक्ष डरा हुआ है।
महागठबंधन के साथ जा सकते हैं सुनील सिंह

हियुवा भारत के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुनील सिंह ने बताया कि वह भाजपा व योगी आदित्यनाथ को हराने के लिए यमराज से भी समझौता करने को तैयार हैं। पर्चा खारिज होने के बाद मेरे कार्यकर्ता काफी परेशान हैं। बकौल सुनील सिंह, ‘चुनाव भर चुप तो बैठ नहीं सकता न, न ही धरना-प्रदर्शन आचार संहिता की वजह से कर सकता हूं अन्याय के खिलाफ। अब बस एक ही रास्ता है हम और हमारे कार्यकर्ता भाजपा व योगी आदित्यनाथ को हराने के लिए पूरा दम लगा दें।
क्या किसी राजनैतिक दल के प्रत्याशी का समर्थन करेंगे भाजपा प्रत्याशी के खिलाफ, इस सवाल पर सुनील सिंह का कहना है कि भाजपा को हराने के लिए वह किसी का भी समर्थन करने को तैयार हैं, हां उस प्रत्याशी को कम से कम यह अहसास हो कि वह उसके साथ हैं। उन्होंने बताया कि महागठबंधन प्रत्याशी का भी वह समर्थन कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि भगवान श्रीराम को भी लंकापति रावण का वध करने के लिए विभिषण का राज्याभिषेक करना पड़ा था। वह भी भाजपा को हराने के लिए किसी के साथ जा सकते हैं।
यह है मामला

हियुवा भारत के अध्यक्ष सुनील सिंह ने गोरखपुर लोकसभा क्षेत्र से हिदुस्थान निर्माण दल के प्रत्याशी के रूप में पर्चा दाखिल किया था। आपराधिक मामलों वाले काॅलम में कुछ तथ्य छुपाने के आरोप में मंगलवार को उनको पर्चा खारिज कर दिया गया। इसके बाद सुनील सिंह ने डीएम के खिलाफ कैंट थाने में तहरीर दी थी। तहरीर देने के अलावा सुनील ने न्यायालय जाने की बात कही है।
कभी योगी आदित्यनाथ के रह चुके हैं खास

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कभी खास रहे सुनील सिंह काफी दिनों तक हिंदू युवा वाहिनी के प्रदेश अध्यक्ष रहे हैं। लेकिन बीजेपी के खिलाफ प्रत्याशी उतारने के आरोप में सुनील सिंह को 2017 के विधानसभा चुनाव के दौरान संगठन से निकाल दिया गया था। संगठन से निकाले जाने के बाद सुनील सिंह ने हिंदू युवा वाहिनी भारत नाम से संगठन बनाया और लोकसभा चुनाव में उतरने का ऐलान किया। इसी बीच उनके कार्यकर्ताओं की कहासुनी हियुवा के कार्यकर्ताओं से हुई। मामला थाने तक पहुंचा। पुलिस ने सुनील सिंह के संगठन के कार्यकर्ताओं को हिरासत में ले लिया। सूचना पाकर सुनील सिंह अपने कार्यकर्ताओं को हिरासत में छुड़ाने पहुंचे। पुलिस से हुई नोकझोंक के बाद सुनील सिंह को भी गिरफ्तार कर लिया गया। बाद में उनके खिलाफ कई रपट दर्ज कराया गया और रासुका के तहत कार्रवाई की गई। कुछ माह पूर्व ही हाईकोर्ट से सुनील सिंह जमानत हुई।
जेल से बाहर आने के बाद वह लगातार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ व भाजपा पर हमला बोल रहे थे। लोकसभा चुनाव की अधिसूचना जारी होते ही उन्होंने गोरखपुर से चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया। प्रवीण भाई तोगड़िया की पार्टी ने उनको टिकट दे दिया। हिंदुस्थान निर्माण दल के प्रत्याशी के रूप में सुनील सिंह ने पर्चा भरा था। पर्चा दाखिला के दौरान उन्होंने शहर में ताकत का प्रदर्शन करते हुए जुलूस भी निकाला।

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