आर्इएस की तरह हत्या किए जाने का फोटो-वीडियो मिला था घरवालों को, पुलिस ने जांच की ताे रह गर्इ हैरान
प्र्रेमी संग रहने और घरवालों के विरोध से निजात पाने के लिए युवती व उसके प्रेमी शिक्षक ने हत्या का फर्जी वीडियो व फोटो वायरल किया था। एयरटेल आॅफिस में रहने वाली चौरीचौरा की युवती का अपहरण नहीं हुआ था। पुलिस ने इस प्रकरण पर से पर्दा उठा दिया है। प्रेमी जोड़ा व्हाट्सअप पर फोटो भेजकर घरवालों को गुमराह करना चाहता था कि युवती के घरवाले उसे मृत समझ लें लेकिन मामला तूल पकड़ लिया। पुलिस ने दोनों को जेल भेज दिया है। दरअसल, चौरीचौरा क्षेत्र की रहने वाली युवती सोशल मीडिया के माध्यम से युवक हरिमोहन शर्मा के संपर्क में आई। आगरा के रहने वाले, पेशे से शिक्षक हरिमोहन से उसकी नजदीकियां बढ़ी। फिर इन लोगों ने एक पखवारा पहले घर छोड़ने का प्लान बनाया।
Read this also: तुम्हारी बेटी को मारकर ले लिया बदला, तुम एेसे बाप को हो जिसे बेटी की लाश भी नसीब नहीं होगीयह था घटनाक्रम मोहर्रम के दिन 10 सितंबर को चौरीचौरा के बालबुजुर्ग ओमनगर के शिक्षक ओम प्रकाश पांडेय की 23 साल की पुत्री काजल पांडेय सुबह करीब नौ बजे आफिस जाने को निकली। काजल एयरटेल आॅफिस में काम करती थी। घरवालों ने मोहर्रम की छुट्टी होने की बात पूछी तो उसने आॅफिस खुले होने का बहाना बना दिया। उसने घरवालों को बताया कि वह आॅफिस अपना हिसाब कराने जा रही है। युवती के घर से जाने के बाद दोपहर में कुछ फोटोग्राफ्स उसके पिता के मोबाइल पर आया। इसमें युवती की आंखों पर पट्टी बंधी हुई थी। बिल्कुल आईएस के स्आईल में उसे मारने संबंधी धमकी के साथ खून से लथपथ युवती के फोटो भेजे गए थ। कहा गया था कि तुम्हारी बेटी से बदला ले लिया गया। पूरे दिन युवती के घरवाले मोबाइल पर मिला व्हाट्सअप संदेश नहीं देख पाए। देर शाम को देखा तो उनके होश उड़ गए। तत्काल चौरीचौरा पुलिस को मामले के बारे में बताया। केस दर्ज हुआ। परिजन दो जानने वालों के खिलाफ तहरीर दिए। पुलिस ने दोनों आरोपी युवकों को गिरफ्तार कर लिया। कई दिनों की तलाश और पूछताछ के बाद भी पुलिस को कुछ हासिल नहीं हुआ।
सीओ सुमित शुक्ला के मुताबिक युवती के प्लान के बाद गिलिसरीन में कलर मिलाकर गोरखपुर के कुसम्ही जंगल में कहानी रचकर फोटो खींचने के बाद दोनों ने सिम वहीं पर तोड़कर फरार हो गए थे। इसके बाद दोनों ने एक मेगामार्ट में जाकर खरीदारी की और फरार हो गए। दोनों आरोपियों के खिलाफ खुद के अपहरण की साजिश रचने और फोटो को सोशल मीडिया के माध्यम से वायरल करने के मामले में आईपीसी की धारा 193, 419, 468, 34 और 66 डी आईटी एक्ट के तहत मामला दर्ज कर दोनों को कोर्ट में पेश किया गया। न्यायालय ने दोनों को जेल भेज दिया।