जिला मुख्यालय में श्रम विभाग की ओर से मजदूरों को बाटी जाने वाली साइकिल शहर के इस्लामिया इंटर कालेज के कमरों में रखी जाती है।
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हमीरपुर. जिला मुख्यालय में श्रम विभाग की ओर से मजदूरों को बाटी जाने वाली साइकिल शहर के इस्लामिया इंटर कालेज के कमरों में रखी जाती है। आज कल स्कूल एक साईकिल वर्कशाप में तब्दील हो चुका है। सारा दिन साईकिल मिस्त्री स्कूल में धामा चौकड़ी मचाते रहते हैं। जिस कारण स्कूल में पढ़ाई के नाम पर केवल खाना पूर्ती होती है जिससे छात्रों के भविष्य के साथ खिड़वाड़ किया जा रहा है। पूरा कॉलेज आज कल साईकिल वर्कशाप बन गया है। इनसे स्कूल का शिक्षण कार्य प्रभवित होता है।
साईकिल खरीदने का टेंडर शहर की एक निजी कंपनी को मिला है। कंपनी का संचालक इस्लामिया इंटर कालेज का एक शिक्षक भी है। उसी का लाभ उठा कर वह स्कूल के कमरों में साइकिले रखवा कर वही पर मजदूरों से साइकिल कसवा रहा है। इस कारण से स्कूल में शिक्षण कार्य बाधित रहता है।
पढाई के दौरान मजदूर साईकिल लेने पहुंचते हैं, जिससे छात्रों को परेशानी होती है। वही जब हमने श्रम विभाग से पूछा कि ठेकेदार से साईकिल खरीदते हैं, वह साईकिल कहा रखता है तो विभाग ने कहा कि कोई लेनादेना नहीं है। जब प्रधानचार्य से पूछा तो उनका भी जबाब गोल मोल था। उन्होंने उपश्रमायुक्त के आदेशों का हवाला दिया। इन सब मामले में छात्रों का क्या कुसूर है जो उनके भविष्य के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है।
छात्रों का कहना है कि जब शिक्षक हम लोगों को पढ़ाते हैं, उसी वक्त साईकिल मिस्त्री द्वारा साइकिलों की मरम्मर करने की आवाज से हमारा ध्यान पढ़ाई में केंद्रित नहीं हो पता है। बहुत सी चीजें है जो अध्यापक हमें समझाते हैं। हम लोग कभी-कभी सुन भी नहीं पाते हैं, जिसके कारण हम लोगों का पढ़ाई का काफी नुक्सान भी हो रहा है। इसकी शिकायत छात्रों ने प्रधानाचार्य से भी की पर अभी तक कोई रास्ता नहीं निकल गया है।