ज्यादा जंक फूड से प्रेग्नेंसी के तीसरे तिमाही में फैटी लिवर की आशंका
प्रेग्नेंसी के तीसरे तिमाही यानी 35-36वें सप्ताह में महिलाओं को ज्यादा क्रेविंग होती है। इस दौरान अगर वह ज्यादा अनहैल्दी खाती है तो उनमें फैटी लिवर की आशंका बढ़ जाती है।
ज्यादा जंक फूड से प्रेग्नेंसी के तीसरे तिमाही में फैटी लिवर की आशंका
प्रेग्नेंसी के तीसरे तिमाही यानी 35-36वें सप्ताह में महिलाओं को ज्यादा क्रेविंग होती है। इस दौरान अगर वह ज्यादा अनहैल्दी खाती है तो उनमें फैटी लिवर की आशंका बढ़ जाती है। पेट में दर्द, कम भूख लगना, वजन कम होना, उल्टी, थकान और त्वचा का पीला पड़ जाना इसके कुछ लक्षण हैं। इससे शिशु के विकास पर खराब असर पड़ता है। अगर ऐसा है तो तत्काल जांच करवाएं। कई बार डॉक्टर पेट देखकर ही पता कर लेते हैं। जरूरत होने पर कुछ टेस्ट भी करवाते हैं। लेकिन डॉक्टर से सलाह के बाद ही जांच करवाएं।
इस तरह करें बचाव
हैल्दी लाइफस्टाइल अपनाकर बचाव कर सकते हैं। क्रेविंग होने पर जंक फूड की जगह फल या मेवे खाएं। डाइट में हल्दी जरूर शामिल करें। इस मौसम में कच्ची हल्दी आती है। इसे डाइट में शामिल करें। इसमें एंटी-बैक्टीरियल,एंटीवायरल,एंटीइंफ्लामेट्री और एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं। यह फैटी लिवर की समस्या से बचाव करते है. इसलिए प्रेगनेंसी में इन बातों का ध्यान रखना चाहिए।
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