यदि आपको कोरोना वायरस से संक्रमित होने के लक्षण दिखते हैं तो आप तुरंत इससे संबंधित जांचें न कराएं। इससे कई बार संक्रमित होते हुए भी रिपोर्ट निगेटिव आ जाती है। जानिए लक्षण दिखने के बाद कब कराना चाहिए कोरोना संबंधित जांच-
जयपुर•Jun 11, 2020 / 06:43 pm•
Ramesh Singh
वाशिंगटन. यदि किसी व्यक्ति में कोरोना से संबंधित लक्षण दिख रहे हैं तो इसका अर्थ यह नहीं है कि वह संक्रमित है। कई बार शुरुआती स्तर पर जांच में पाया गया है कि वह संक्रमित नहीं है। लेकिन वह बीमारी की चपेट में आ चुका होता है। इसको लेकर अमरीका के जॉन्स हॉपकिंस विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने अस्पताल में भर्ती मरीजों समेत कई अन्य मरीजों के मुंह के लार के 1,330 नमूनों का विश्लेषण किया है।
क्या कहते हैं विशेषज्ञ
इस अध्ययन की सह लेखक लॉरेन कुसिर्का ने कहा कि चाहे किसी व्यक्ति में लक्षण हों या न हों, लेकिन वह संक्रमित नहीं पाया जाता है तो यह इसका अर्थ यह नहीं है कि वह वायरस से संक्रमित नहीं है। जिन मरीजों के कोरोना वायरस की चपेट में आने की अधिक आशंका होती है उनका संक्रमित मानकर इलाज करना चाहिए।
इसलिए तीन दिन बाद जांच
अध्ययन के अनुसार संक्रमण की चपेट में आने के चार दिन बाद जिनकी जांच की जाती है उनमें 67 प्रतिशत से अधिक लोगों के संक्रमित होने की आशंका होती है। चाहे वे संक्रमित ही क्यों न हों। शोधकर्ताओं का कहना है कि कोरोना वायरस संक्रमण की जांच कराने का सबसे सही समय संक्रमण के आठ दिन बाद है जो कि लक्षण दिखने के औसतन तीन दिन हो सकता है।