समग्र शिक्षा में इंदौर, भोपाल, ग्वालियर से आगे निकला जिला
समग्र शिक्षा अभियान की समीक्षा कर राज्य शिक्षा केन्द्र ने जारी की जिलों की रैंकिंग
समग्र शिक्षा में इंदौर, भोपाल, ग्वालियर से आगे निकला जिला
नर्मदापुरम- समग्र शिक्षा के तहत राज्य शिक्षा केन्द्र ने प्रदेश के जिलों की रैंकिंग जारी की है। सूची में नर्मदापुरम को 18 वां स्थान मिला है। खास बात यह है कि इस सूची में इंदौर को 23वां, ग्वालियर को 29वां व भोपाल जिले को 35वां स्थान मिला है।
नर्मदापुरम को इस रैंकिंग में 100 में से 64.70 नंबर ही मिले हैं। संभाग में बैतूल जिला सबसे आगे हैं जबकि हरदा सबसे पीछे हैं। बैतूल जिला 68.69 अंकों के साथ 7वें नंबर पर है जबकि हरदा जिला 60.86 अंकों के साथ 26वें नंबर पर हैं।
77.76 नंबरों के साथ छिंदवाड़ा जिला प्रदेश भर में पहले नंबर पर रहा। दूसरे स्थान पर बालाघाट और तीसरे पर नीमच जिला रहा। रैंकिंग में आखिरी पायदान पर ग्रेड डी के साथ 50वें स्थान पर रतलाम, 51वें स्थान पर गुना और आखिरी स्थान अलीराजपुर जिले है। शैक्षणिक सत्र 2021-22 में प्रदर्शन के आधार पर प्रदेश के सभी 52 जिलों की प्रावधिक रैकिंग जारी की है। प्रारंभिक शिक्षा की तर्ज पर ही कक्षा 9वीं से 12वीं के लिए भी के आधार पर शिक्षा विभाग की समेकित रैंकिंग का आकलन किया जाएगा।
7 बिंदुओं के आधार मिली रैंक
रैंकिंग में 7 प्रमुख बिंदुओं के आधार पर अंक दिए गए हैं। नामांकन और ठहराव के लिए 21, लर्निंग के परिणाम और गुणवतता के लिए 21, शिक्षकों का विकास के लिए 10, इक्विटी के लिए 10, बुनियादी ढांचे और सुविधाओं के लिए 13 शासन और वित्त प्रबंधन के लिए 20 और पढऩा लिखना अभियान के लिए 5 नंबर रखे गए।
इन बिंदुओं का रहा महत्व
नामांकन ठहराव- इसके तहत अगली कक्षा में विद्यार्थी रुके या नहीं, पहली कक्षा में विद्यार्थियों का पंजीयन, पांचवी से छठवीं कक्षा में प्रवेश का प्रतिशत और विद्यार्थी के एजुकेशन पोर्टल पर कक्षा पहली से आठवी स्कूल छोडऩे की दर।
सीखने के परिणाम और गुणवत्ता- विद्यार्थियों का स्कूल नेशनल अचीवमेंट सर्वे और नेशनल मीस स्कॉलरशिप में प्रदर्शन के साथ पांचवी और आठवीं में ए और ए प्लस ग्रेड लाने वाले विद्यार्थियों का प्रतिशत।
इक्विटी समता- समाज के कमजोर वर्ग, अनुसूचित जाति और जनजाति के विद्यार्थियों का पांचवी और आठवीं में प्रदर्शन के साथ विद्यार्थियों के पहचान और प्रोफाइल अपडेशन, सुविधाएं और प्रदर्शन।
बुनियादी ढांचा, सुविधा: स्कूलों में रैंप और बिजली की सुविधा, सिविल वर्क पूरे किए या नहीं।
इसे ध्यान में रखकर तैयार की गई रैंकिंग
इनमें महीने की प्राथमिकता के अनुसार सम-सामायिक रूप से बदलाव किए जाएंगे। इस तरह समग्र शिक्षा योजना के तहत संचालित कार्यक्रम और गतिविधियों के साथ ही छात्रों के सीखने के प्रतिफल, शिक्षकों की क्षतमा, स्कूल में संसाधन और विभिन्न मूल्यांकनों में स्कूलों के प्रदर्शन को ध्यान में रखते हुए प्रदर्शन आधारित रैंकिंग तैयार की गई है।
इनका कहना है
समग्र शिक्षा अभियान में जिले का प्रदर्शन बेहतर रहा। प्रदेश की सूची में जिले को 18वीं रैंक मिली है।
एके कुंभारे, डीपीसी
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