कोरोना पॉजिटिव मरीजों का इलाज एमआरटीबी अस्पताल, चेस्ट सेंटर के अलावा गोकुलदास और अरबिंदो अस्पताल में चल रहा है। यहां जो मरीज भर्ती रहते हैं, उनकी मौत की जानकारी तुरंत मेडिकल कॉलेज को दी जानी चाहिए, ताकि मेडिकल कॉलेज अपने डाटा को सही कर जानकारी साझा कर सके, लेकिन गोकुलदास अस्पताल और अरबिंदो में मरीज की मौत के घंटों बाद तक जानकारी नहीं दी जा रही। चार दिन पहले नेहरू नगर के जिस युवक की मौत हुई थी, उसकी जानकारी मेडिकल कॉलेज ने कल साझा की। इसके पीछे भी यही कारण बताया गया। वहीं पिछले दो दिनों में गोकुलदास में अन्य लोगों की भी मौत हो चुकी है, लेकिन अस्पतालों द्वारा जानकारी नहीं दी जा रही है। इसमें एक बड़ी लापरवाही यह भी सामने आ रही है कि गोकुलदास अस्पताल का संचालन तो लगभग सरकार ने अपने हाथ में ले लिया है, बावजूद यहां से समय पर जानकारी नहीं मिल पा रही है। अधिकारियों को ही किसी मरीज की मौत के बारे में जानने में घंटों लग रहे हैं। ऐसे में अब इन अस्पतालों के जिम्मेदारों और संबंधित डॉक्टरों पर सख्ती हो सकती है।