सरवटे बस स्टैंड पर बसों का जाम न लगे, इसलिए बसों को परमिट के अनुसार ३० मिनट पहले स्टैंड परिसर में दाखिल होने का नियम बनाया गया है, लेकिन बस संचालक इसका उल्लघंन कर रहे हंै। आज सुबह ६.४५ बजे कई वे बसें भी स्टैंड पर खड़ी थीं, जिनका रवाना होने का समय तीन घंटे बाद का था। सभी जिम्मेदारों ने आंखें बंद कर रखी हैं। इस मामले में न तो यातायात विभाग और न ही सरवटे बस स्टैंड प्रबंधक कार्रवाई कर रहा है।
फिर भर गया स्टैंड मार्च माह में यातायात पुलिस ने जाम की समस्या से निपटने के लिए सख्ती दिखाई थी। इसके बाद बस स्टैंड पर बसों का संचालन पूरी तरह से व्यवस्थित हो गया था, लेकिन कुछ दिनों से यातायात पुलिस द्वारा सख्ती नहीं करने से दोबारा जाम लगने लगा है। इसी के चलते सवारी बैठाने को लेकर विवाद भी होता है।
स्थाई व्यवस्था जरूरी सरवटे बस स्टैंड पर यातायात पुलिस द्वारा स्थाई व्यवस्था करना जरूरी है। जब तक यातायात पुलिस कार्रवाई करती है, बस संचालक नियमों बसों का संचालन करते है, लेकिन यातायात पुलिस के हटते ही मनमानी पर उतर आते हैं। सरवटे बस स्टैंड पर कम से कम दो शिफ्ट में यातायात पुलिस द्वारा स्थाई रूप से निगरानी रखी जानी चाहिए।
महू में कार्यक्रम से गड़बड़ा गई थी व्यवस्था, ठीक करवा लेंगे इस मामले में सरवटे बस स्टैंड प्रभारी दिनेश पटेल ने बताया कि महू में हुए कार्यक्रम के चलते व्यवस्थाएं कुछ हद तक गड़बड़ाई हैं। आज ही व्यवस्थाएं ठीक करवा ली जाएंगी। साथ ही यातायात पुलिस विभाग से स्थाई व्यवस्था करने के लिए कहा जाएगा।