diwali 2017- 20 करोड़ यूनिट बिजली से रोशन हुआ MP का दामन
दीपावली पर बिजली आपूर्ति के टूटे पिछले रिकॉर्ड, गत वर्ष की तुलना में 7 प्रतिशत अधिक बिजली की सप्लाई
20 million 49 million units of electricity generated in MP on diwali
जबलपुर। मध्यप्रदेश रोशनी के पर्व के दीपोत्सव के अवसर पर तीनों दिन पिछले वर्ष की दीपोत्सव तुलना में अधिक बिजली की आपूर्ति की गई और नए रिकार्ड के साथ पूरा प्रदेश रोशनी से जगमग रहा। 19 अक्टूबर को दीपावली के दिन प्रदेश में 20 करोड़ 49 लाख यूनिट बिजली की सप्लाई की गई, जबकि पिछले वर्ष दीपावली के दिन प्रदेश में 19 करोड़ 21 लाख यूनिट बिजली की सप्लाई हुई थी। इस प्रकार पिछले वर्ष की दीपावली की तुलना में इस वर्ष दीपावली के दिन बिजली की सप्लाई 7 प्रतिशत अधिक रही। प्रदेश में दीपावली के दिन बिजली की अधिकतम मांग 9 हजार 249 मेगावाट रही, वहीं पिछले वर्ष दीपावली के दिन बिजली की अधिकतम मांग 8 हजार 733 मेगावाट रही थी।
नरक चौदस के दिन 20 करोड़ 69 लाख यूनिट बिजली सप्लाई
एमपी पावर मैनेजमेंट कंपनी लिमिटेड के प्रबंध संचालक श्री संजय कुमार शुक्ल ने जानकारी दी कि दीपोत्सव के एक दिन पहले 18 अक्टूबर को नरक चौदस के दिन 20 करोड़ 69 लाख यूनिट बिजली की सप्लाई प्रदेश में की गई। पिछले वर्ष नरक चौदस को प्रदेश में 19 करोड़ 44 लाख यूनिट बिजली की सप्लाई की गई, जो कि पिछले वर्ष की तुलना में 6 प्रतिशत अधिक है। इस वर्ष नरक चौदस को बिजली की अधिकतम मांग 9 हजार 402 मेगावाट रही, जबकि पिछले वर्ष नरक चौदस के दिन प्रदेश में बिजली की अधिकतम मांग 8 हजार 790 मेगावाट दर्ज हुई थी। इस वर्ष धन तेरस के दिन 17 अक्टूबर को प्रदेश में 20 करोड़ 76 लाख 96 हजार यूनिट बिजली की सप्लाई की गई थी।
कैसे मिली बिजली
इस वर्ष दीपावली के दिन मध्यप्रदेश पावर जनरेटिंग कंपनी लिमिटेड के ताप विद्युत गृहों का उत्पादन 1 हजार 693 मेगावाट व जल विद्युत गृहों का उत्पादन 168 मेगावाट रहा। इंदिरा सागर, ओंकारेश्वर व सरदार सरोवर जल विद्युत गृह से प्रदेश को 430 मेगावाट बिजली प्राप्त हुई। वहीं सेंट्रल सेक्टर से एवं डीवीसी से 3 हजार 066 मेगावाट बिजली का अंश प्राप्त हुआ। सासन बिजली परियोजना से प्रदेश को 1 हजार 347 मेगावाट एवं आईपीपी व अन्य स्त्रोतों से 2 हजार 545 मेगावाट बिजली प्राप्त हुई।
इनके सहयोग से निर्बाध आपूर्ति
दीपावली के दिन प्रदेश में सफलतापूर्वक बिजली सप्लाई करने में स्टेट लोड डिस्पैच सेंटर, एमपी पावर मैनेजमेंट कंपनी लिमिटेड का कंट्रोल रूम व क्षेत्रीय कार्यालय, पावर जनरेटिंग कंपनी के विद्युत गृहों के साथ मध्यप्रदेश पावर ट्रांसमिशन कंपनी व प्रदेश की तीनों विद्युत वितरण कंपनी के कंट्रोल रूम एवं मैदानी अभियंताओं व कार्मिकों की सराहनीय भूमिका रही।