शहर के ऑक्सीजन टैंक को दिया जाएगा पुराना स्वरूप
जबलपुर•Jun 08, 2019 / 10:56 pm•
prashant gadgil
Madan Mahal hill
जबलपुर। मदनमहल पहाड़ी को फिर हर हरा भरा बनाया जाएगा। पहाड़ी को दशकों पुराना स्वरूप लौटाने के लिए पच्चीस हजार पौधे रोंपे जाएंगे। इनमें पक्षियों, वन्य जीवों के लिए अनुकूल पौधों से लेकर छायादार पौधे भी लगाए जाएंगे। जिससे शहर का ऑक्सीजन टैंक कही जाने वाली पहाड़ी को फिर से हरा-भरा बनाने के साथ ही उस पर जैव विविधता बढ़ाने भी हर संभव प्रयास किया जाएगा। पहाड़ी पर रोपे जाने वाले पौधों में से ज्यादातर को सुरक्षित बचाया जा सके, इसके लिए स्मार्ट सिटी ईको टूरिज्म, राज्य वन अनुसंधान केन्द्र व वन विभाग की संयुक्त टीम मिलकर काम करेंगी।
ये पौधे लगाए जाएंगे
पहाड़ी पर चिरौल, जामुन, कठ जामुन, बेल, बेर, आंवला, चार, भिल्मा, नीम, पीपल, बरगद, सीता फल के पौधे लगाए जाएंगे। पहले भी पहाड़ी पर प्राकृतिक रूप से ये पौधे बहुतायत में लगे हुए थे। बाद में पहाड़ी पर अतिक्रमण होने के साथ ही पेड़ कटते गए।
किया जाएगा ड्रिप इरीगेशन
पौधरोपण के साथ ही पौधों को सुरक्षित बचाने के लिए ड्रिप इरीगेशन तकनीक अपनाई जाएगी। जिससे की पौधों की बेहतर ढंग से सिंचाई हो सके। इसके लिए पहाड़ी पर पहले से मौजूद जल स्रोतों का उपयोग किया जाएगा। इसके साथ ही नए जल स्रोत भी विकसित किए जाएंगे। पहाड़ी पर लगाए जाने वाले पौधों की सुरक्षा की जिम्मेदारी स्मार्ट सिटी ईको टूरिज्म टीम व वन विभाग का अमला संयुक्त रूप से संभालेगा।
तीनों प्रकार के पौधे रोपे जाएंगे
पहाड़ी पर में तीन प्रकार के पौधे रोंपे जाएंगे। जिनमें बड़े आकार वाले पेड़ सबसे ज्यादा होंगे। उनके अलावा मध्यम व छोटे आकार के पेड़ भी लगाए जाएंगे।
संस्थाओं को भी बनाया जाएगा भागीदार
पहाड़ी पर पौधरोपण में शैक्षणिक, सामाजिक संस्थाओं को भी भागीदार बनाया जाएगा। जिससे की पहाड़ी को हरा-भरा बनाने में सभी की सहभागिता हो। प्रोजेक्ट मैनेजर, ईको टूरिज्म, स्मार्ट सिटी जबलपुर केएल कांवरे के अनुसार मदनमहल पहाड़ी पर ब्लॉकवार पौधरोपण किया जाएगा। जिनमें बड़े, मध्यम व छोटे आकार के पेड़ लगाए जाएंगे। इन पौधों की देखभाल स्मार्ट सिटी व वन विभाग की संयुक्त टीम करेगी। पहाड़ी को फिर से पुराना स्वरूप दिया जाएगा।
यह है स्थिति
-25 हजार पौधे रोंपे जाएंगे
-25 ब्लॉक बनाए जाएंगे
-1 हजार के लगभग पौधे लगाए जाएंगे प्रति एकड़
-जून महीने के अंत तक पूरी कर ली जाएगी तैयारी
-जुलाई के पहले सप्ताह में रोपे जाएंगे पौधे