एक्टिंग चीफ जस्टिस जस्टिस संजय यादव व जस्टिस राजीव कुमार दुबे की डिवीजन बेंच ने कलेक्टर की ओर से पेश की गई अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई रिपोर्ट को लेकर फिर से असंतोष जताया। साथ ही बेंच ने कलेक्टर को एक्शन टेकन रिपोर्ट पेश करने की हिदायत दी।
बता दें कि शहपुरा भिटौनी तहसील की ग्राम पंचायत सहजपुर के निवासी राजेंद्र सिंह ने अप्रैल 2018 में यह जनहित याचिका दायर की थी। जनहित याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता अनूप नायर ने कोर्ट को बताया कि सहजपुर में सरकारी जमीन पर सार्वजनिक तालाब व निस्तार की जमीन है। इसके बगल में श्मशान की जगह है। लेकिन इन जमीनों पर शहपुरा के झारिया मोहल्ला निवासी एक दबंग ने अवैध रूप से कब्जा कर निर्माण आरंभ कर दिया है। इसकी शिकायत ग्रामवासियों ने सरपंच सहित अन्य अधिकारियों से की। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई। इस अतिक्रमण के चलते तालाब का वजूद संकट में है। साथ ही स्थानीय निवासियों को भी रोजमर्रा के क्रियाकलापों में दिक्कत हो रही है।
2019 में कोर्ट ने सरकार से जनहित याचिका पर जवाब मांगा था। सरकार के जवाब का अवलोकन करने के बाद कोर्ट ने जनहित याचिका का पटाक्षेप करते हुए कलेक्टर को अवैध कब्जे हटाने की दिशा में कदम उठाने का निर्देश दिया था। गुरुवार को कलेक्टर की ओर से रिपोर्ट पेश की गई। इसमें बताया गया कि तहसीलदार के प्रतिवेदन के अनुसार उक्त जमीन में अतिक्रमण पाए गए। इस पर कोर्ट ने नाराजगी जाहिर की। कोर्ट ने कलेक्टर को कहा कि पूर्व निर्देश के तारतम्य में उक्त अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई कर नए सिरे से रिपोर्ट प्रस्तुत करें। इस बार कोई लापरवाही बर्दाश्त न करने की सख्त चेतावनी दी गई है।