तो आयुध निर्माणियों में महीने भर नहीं बनेंगे गोला-बारूद
निगमीकरण के विरोध में कर्मचारी संगठनों ने 20 अगस्त से तीस दिन तक हड़ताल का लिया निर्णय
government Ordnance factories
जबलपुर। देश की तीनों सेनाओं के लिए रक्षा उत्पाद तैयार करने वाली आयुध निर्माणियों में 30 दिन तक काम बंद रहेगा। कर्मचारियों के तीनों महासंघ और सिड्रा की गुरुवार को दिल्ली में हुई बैठक में यह कठोर निर्णय लिया गया। कर्मचारी केन्द्र सरकार की ओर से आयुध निर्माणियों के निगमीकरण का विरोध कर रहे हैं। यह पहला मौका है जब इतने दिनों तक इन निर्माणियों में काम बंद का निर्णय लिया गया। 20 अगस्त से 19 सितम्बर तक होने वाली हड़ताल का सीधा असर शहर की चारों आयुध निर्माणियों में होगा। गन कैरिज फैक्ट्री, ऑर्डनेंस फैक्ट्री खमरिया, ग्रे आयरन फाउंड्री और वीकल फैक्ट्री जबलपुर में उत्पादन प्रभावित होगा। इनमें करीब 15 हजार कर्मचारी कार्यरत हैं। ऑल इंडिया डिफेंस एम्प्लाइज फेडरेशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष एसएन पाठक ने दिल्ली से दूरभाष पर बताया कि तीनों महासंघ ऑल इंडिया डिफेंस एम्प्लाइज फेडरेशन, भारतीय प्रतिरक्षा मजदूर संघ, इंडियन नेशनल डिफेंस वर्कर फेडरेशन एवं कन्फेडरेशन ऑफ डिफेंस रिकॉग्नाइज्ड एसोसिएशन (सिड्रा) के साथ नई दिल्ली में बैठक हुई। सभी ने एकमतेन 30 दिन की हड़ताल पर जाने का निर्णय लिया है।
उन्होंने कहा कि पूर्व रक्षामंत्रियों ने आयुध निर्माणियों के निगमीकरण एवं निजीकरण नहीं करने का आश्वासन दिया था, लेकिन केन्द्र सरकार इस वादे से पलट गई। फेडरेशनों के 13 तथा 20 जुलाई को भेजे गए संयुक्त पत्र पर भी ध्यान नहीं देते हुए निगमीकरण की ओर कदम बढ़ा दिए हैं। इस सम्बंध में भारतीय प्रतिरक्षा मजदूर संघ के राष्ट्रीय संगठन मंत्री नरेन्द्र तिवारी ने कहा कि संघों का फैसला सरकार की हठधर्मिता के खिलाफ है। इंडियन नेशनल डिफेंस वर्कर फेडरेशन के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अरुण दुबे ने कहा कि कर्मचारी निगमीकरण की नीति से भयभीत हैं। शहर की निर्माणियों में हड़ताल सफल बनाएंगे।
तीन डेलीगेट्स निर्विरोध निर्वाचित
ऑर्डनेंस फैक्ट्री खमरिया के कोऑपरेटिव सोसायटी के चुनाव को लेकर कामगार यूनियन समर्थित तीन डेलीगेट्स सीएल कोरी, संदीप यादव और सीमा दहीवली निर्विरोध निर्वाचित हो गई हैं। सोसायटी की 111 सीटों के लिए चुनाव होना है। तीन उम्मीदवार निर्विरोध होने के कारण अब 108 सीटों के लिए चुनाव होगा। चुनाव के लिए अभी तक कामगार यूनियन, लेबर यूनियन और सुरक्षा कर्मचारी यूनियन इंटक की तरफ से 235 फॉर्म आए हैं।
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