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पुलिस के हथियारों की नहीं होती जांच, मौके पर  दगा न दे जाएं

locationजबलपुरPublished: Jan 30, 2018 12:39:54 am

Submitted by:

virendra rajak

पत्रिका पड़ताल में जिम्मेदारों की लापरवाही उजागर

Police weapon,

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जबलपुर. पुलिस जवान कांधों पर हथियार टांगकर 24 घंटे दुश्मन से टकराने का जज्बा तो रखते हैं। लेकिन, देखरेख और जिम्मेदारों की जानकारी के अभाव में इन हथियारों में जंग लग रहा है। ऐसे में संवेदनशील माने जाने वाले शहर में यदि कभी वक्त पड़ जाए तो ये हथियार दगा दे सकते हैं। यह चौंकाने वाला खुलासा पत्रिका की पड़ताल में हुआ।

ये मिले हालात
पत्रिका ने शहर के कई थाना प्रभारियों से बातचीत की। कुछ को हथियारों के रखरखाव के रोस्टर की जानकारी ही नहीं थी। जबकि कुछ ने माह में एक बार रिपेयरिंग कराने का दावा किया। जब उनके मातहतों से बातचीत की तो थाना प्रभारियों की पोल खुल गई।

टीआई, सिपाही सब ट्रेंड
थाना प्रभारियों से लेकर सभी पुलिस जवानों को ट्रेनिंग के दौरान ही हथियारों के रखरखाव और सफाई का प्रशिक्षण दिया जाता है। इसके बाद भी वे हथियारों की देखभाल के प्रति असंवेदनशील बने रहते हैं।

पुलिस लाइंस में हथियारों की जांच और रखरखाव नियमों के अनुसार होता है। इसके लिए रोस्टर भी बनाया गया है। इसका पालन कराने की जिम्मेदारी थानों के मालखाना मुंशी की होती है। साल में एक बार सभी थानों में लाइन से भी आरमोरर हथियारों की जांच के लिए जाते हैं।
दिलीप सिंह परिहार, रक्षित निरीक्षक

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