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जबलपुर

जब्ती के पांच सौ-हजार के पुराने नोट बन गए मुसीबत, यह है वजह

बड़े रिश्वत के प्रकरण पैसे फंसने की वजह से नहीं हो पा रहे ट्रैप

जबलपुरJul 22, 2018 / 01:46 am

reetesh pyasi

Corruption

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जबलपुर। पांच सौ और हजार रुपए के बंद हो चुके नोट अभी भी तमाम लोगों के लिए मुसीबत बने हुए हैं। बड़ी संख्या में रिश्वत के रूप में जब्त ये नोट ट्रेजरी में जमा हैं। मुश्किल ये है कि ये पुराने नोट रिश्वतखोरों को सजा दिलाने में अहम सबूत हैं। इसके चलते न्यायालय में ट्रॉयल होने तक ये रकम ट्रेजरी में ही रहेंगे। इन पांच सौ व हजार के नोट की कीमत लाखों रुपए में है। ये आंकड़ा सिर्फ जबलपुर का है। प्रदेश के दूसरे जिलों में भी यही हालात हैं। रिश्वत के ये पुराने नोट फरियादियों के लिए भी मुसीबत से कम नहीं हैं। प्रकरण समाप्त होने के बाद रकम मिलेगी, तो उसे रिजर्व बैंक से बदलवाने की मशक्कत करनी होगी।

10 लाख से अधिक रकम
आठ नवम्बर 2016 को नोटबंदी के पहले के मामले में बड़ी संख्या में पांच सौ व हजार रुपए के नोट ट्रेजरी में जमा हैं। ये रकम 10 लाख से अधिक की बताई जा रही है। लोकायुक्त जबलपुर की टीम हर साल सिर्फ ट्रैपिंग के औसतन 40 से अधिक कार्रवाई करती है। आठ साल में 350 से अधिक ट्रैपिंग के प्रकरण में कार्रवाई हो चुकी है। अब भी बड़ी संख्या में मामले कोर्ट में लम्बित हैं। कुछ में विभागीय अनुमति के चलते अड़ंगा लगा है। सुप्रीम कोर्ट ने भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धाराओं में दर्ज प्रकरणों में 90 दिवस के अंदर अभियोजन स्वीकृति का सुझाव दिया था।
13 जुलाई 2018 को जबलपर तहसील में आरआइ अरविंद पांडे को डायवर्सन के एवज में 5500 रिश्वत लेते दबोचा।
29 मई 2018 को जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय के लिपिक प्रवीण शिवहरे को 7000 रिश्वत लेते दबोचा था।
07 अप्रैल 2018 को सिवनी में सहायक आयुक्त पिछड़ा वर्ग विभाग में पदस्थ विशाल श्रीवास व दैवेभो बृजेश भार्गव को 1.40 लाख रुपए रिश्वत लेते दबोचा।
22 मार्च 2018 को नापतौल विभाग के निरीक्षक राजेंद्र चौधरी को 10 हजार रुपए लाइसेंस नवीनीकरण लेते दबोचा
11 फरवरी 2018 को जबलपुर एसडीएम के रीडर दिलीप चौकसे को 3 हजार रुपए डायवर्सन के एवज में दबोचा
27 फरवरी 2018 को सेंट्रल मप्र ग्रामीण बैंक छिंदवाड़ा के बैंक मैनेजर प्रफुल्ल परांजपे को 30 हजार रिश्वत लेते दबोचा
20 फरवरी को पाटन थाने में पदस्थ एसआई आलोक बंसोर को पांच हजार रुपए रेत खदान में हाइवा एंट्री के एवज में लेते दबोचा
14 मार्च 2018 को बालाघाट में एसआई मधुकर बड़ेश्वर को 23 हजार रिश्वत लेते दबोचा।
20 मार्च 2018 को सिवनी मत्स्य विभाग में निरीक्षक एके बक्शी को तालाब का पट्टा देने के एवज में 20 हजार रिश्वत लेते दबोचा
05 फरवरी 2018 को नरसिंहपुर में सहायक खाद्य आपूर्ति अधिकारी वीरेंद्र प्रसाद शर्मा को 15 हजार रुपए शिकायत के निपटारे के एवज में लेते दबोचा
रिश्वत के मामले में ये है नियम
फरियादी को ही रिश्वत की रकम देनी पड़ती है।
उक्त रकम बतौर सबूत सील लगा कर ट्रेजरी में जमा करा दी जाती है।
प्रकरण के निपटारे तक ये रकम ट्रेजरी में ही रहती है।
औसतन दो हजार से लेकर लाखों रुपए तक के प्रकरण लोकयुक्त हर साल ट्रैप करती है।

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