जबलपुर। वक्फ बोर्ड की संपत्तियों पर काबिज कांग्रेसियों को जल्द ही अपना सालों पुराना
कब्जा खाली करना पड़ सकता है। मध्यप्रदेश वक्फ बोर्ड ने अपनी जमीनों और दुकानों से रेवेन्यू बढ़ाने की आड़ में कांग्रेसियों पर निशाना साध लिया है। इस बात के संकेत मप्र वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष शौकत मोहम्मद खान ने जबलपुर प्रवास के दौरान दिए है। उन्होंने दावा किया है कि वक्फ की व्यावसायिक और पॉश इलाकों की मौजूद अधिकांश प्राइम प्रॉपर्टी में कांग्रेस का कब्जा है, जिनका किराया अभी पुरानी मुद्रा में दो आना तक दर्ज है। बोर्ड अध्यक्ष के इस बयान को जानकर प्रदेश की राजनीति में कांग्रेसियों के खिलाफ भारतीय जनता पार्टी की बड़ी तैयारी के रूप में देख रहे है। भाजपा से जुड़े लोगों के वक्फ बोर्ड की कमान संभालने के बाद उसकी संपत्तियों पर कब्जे के वर्चस्व की लड़ाई के बीच भाजपा की यह तैयारियां कांग्रेसियों को झटका दे सकती है।
वक्फ की २४२६१ संपत्तियां, ४३०० मुकदमे
मप्र वक्फ बोर्ड के चेयरमैन शौकत मोहम्मद खान ने शुक्रवार को पत्रकारों से बातचीत में बताया कि प्रदेश में वक्फ की कुल 24261 सम्पत्तियां हैं, जिसे देखते हुए केन्द्र के अल्पसंख्यक कल्याण
मंत्रालय द्वारा जोनल ऑफिस के लिए 47 लाख रुपयों का अनुदान स्वीकृत किया गया है, जिसमें पहली किश्त के रूप में 6 लाख रुपए का भुगतान हो गया है। उन्होंने बताया कि वक्फ की संपत्तियों पर कब्जा करने वालों में कांग्रेस के पूर्व मंत्रियों सहित कई रसूखदार नेता शामिल है। इनके द्वारा किए और कराए गए कब्जों के 4300 मुकदमे प्रदेश की विभिन्न अदालतों में चल रहे हैं।
कांग्रेसियों से किराया नहीं मिलने से परेशानी
वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष के मुताबिक बोर्ड की जमीनों पर बनी दुकानों सहित अन्य संपत्तियों पर सबसे ज्यादा कब्जे कांग्रेसियों के हैं। भोपाल में तो इन कब्जेदारों के लिए किराया अभी भी दस्तावेजों में दो आना दर्ज है, जो उन्होंने कई वर्षों से नहीं दिया है। ऐसी स्थिति में वक्फ को अपनी आमदनी बढ़ाकर शिक्षा के क्षेत्र में और अधिक काम करने में परेशानी हो रही है। इसके चलते अब वक्फ की जमीन से कब्जे हटाकर कलेक्टर गाइड लाइन की दर से उसे किराये पर देने की अनुमति का प्रयास कर रहे हैं। इससे आमदनी बढऩे पर शिक्षा के क्षेत्र में और काम किया जा सके।
अंजुमन स्कूल में खुलेगा जोनल कार्यालय
वक्र्फ बोर्ड की शुक्रवार को मढ़ाताल स्थित अंजुमन इस्लामिया स्कूल बैठक हुई। बैठक की सूचना बोर्ड में शामिल पांच सदस्यों को प्रेषित की गई थी। लेकिन बैठक में केवल एक सदस्य ही उपस्थित हुए। ये बैठक जबलपुर में जोनल कार्यालय खोलने के एकसूत्रीय एजेंडे पर आधारित थी। वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष ने मढ़ाताल स्थित अंजुमन इस्लामिया स्कूल में जोनल कार्यालय खोलने पर सहमति जताई है। सूत्रों के अनुसार केंद्र सरकार के नियमों के मुताबिक बोर्ड की 25 हजार कुल सम्पत्तियां होने पर जबलपुर में दूसरे जोनल कार्यालय को खोलने की अनुमति मिल जाएगी।