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जबलपुर

पानी तो अमृत है… आओ इसे मिलकर सहेजें

जबलपुर में जलमित्र नर्मदा तटों और सरोवरों को स्वच्छ रखने के लिए संकल्पित

जबलपुरJun 04, 2020 / 11:41 pm

shyam bihari

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जबलपुर। जल ही जीवन है। इसे चरितार्थ करते हुए जबलपुर के रहवासी नर्मदा तटों सहित जलाशयों की सफाई में सहभागिता कर रहे हैं। कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए लॉकडाउन अवधि में जीवनदायिनी नर्मदा का जल साफ हो गया है। ऐसे में जल स्रोतों के संरक्षण के लिए समर्पित रहने वालों ने जीवनदायिनी का नैसर्गिक स्वरूप यथावत रखने और तटों को स्वच्छ रखने के लिए सभी से सहभागी बनने की अपील की है। शहर के जलमित्र यह संदेश भी दे रहे हैं कि जिस तरह से अमेरिका के वर्जीनिया में जल स्रोतों के तटों को स्वच्छ रखने के लिए जून के पहले शनिवार को क्लीन द बे डे मनाया जाता है। यहां भी सभी को मिलकर जलस्रोतों को स्वच्छ रखने में सहयोग करना चाहिए।

पर्यावरणविद् प्रो एचबी पालन ने कहा कि ओमती और मोती नदी को नालों में तब्दील कर दिया गया है। पिछले कुछ वर्षों में उनका स्वरूप और समेट दिया गया है। परियट और गौर नदी की स्थिति भी लगातार दयनीय हो रही है। जागरुकता से ही जलस्रोत स्वच्छ रह सकते हैं। जल मित्र ऋषि सागर का कहना था कि लॉकडाउन के दौरान नदियों का जो स्वरूप है उसे यथावत रखना हम सभी की जिम्मेदारी है। तटों पर साबुन से स्नान व ऐसी गतिविधियों पर सख्ती से रोक लगे। जल मित्र अभिषेक मिश्रा ने बताया कि पुण्य सलिला मां नर्मदा सभी की आस्था का केंद्र हैं। नर्मदा में स्नान, पूजन-अर्चन के दौरान यह ध्यान रखा जाना चाहिए कि जीवनदायिनी का आंचल गंदा नहीं हो।

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