केरल में सरकारी परमानेंट जॉब लगी है
परिजन के मुताबिक जगदलपुर निवासी फिरोज खान और देवेन्द्र साहू नि:शुल्क कम्प्यूटर प्रशिक्षण दिलवाने की बात कहकर जिले के 18 लोगों को छह माह पूर्व रायपुर लेकर गए थे। रायपुर में तीन महीने तक एक हॉस्टल में रहते हुए इन सभी ने कम्प्यूटर की ट्रेनिंग की। इसके बाद फिरोज और देवेन्द्र ने सभी लड़कियों से कहा कि अब तुमने ट्रेनिंग पूरी कर ली है, इसलिए तुम्हारी केरल में सरकारी परमानेंट जॉब लगी है। इसके बाद सभी को केरल ले गए।
परिजन सलामत घर वापसी की मांग कर रहे
सरकारी जॉब के बजाए इन सभी को एक कपड़ा फैक्टरी में काम पर लगा दिया गया। जिसके बाद से इनका सभी परिवार के लोगों से संपर्क टूट गया है। केरल स्थित इस कंपनी में बंधुआ मजदूर बनाकर इनसे काम लिया जा रहा है। अब पीडि़त परिजन अपनो को बंदी बनाए जाने के खिलाफ पुलिस से गुहार लगाते हुए सभी की सही सलामत घर वापसी की मांग कर रहे हैं। परिजन ने सोमवार को सीएसपी से मुलाकात करने के उपरांत श्रम विभाग में भी पहुंचे थे। बंधकों में धुरगुड़ा में रहने वाली पांच बंधक भी शामिल हैं।